सामान्य शब्दों में कहा जाए तो पीएफ स्कीम (Provident Fund Account) के तहत कर्मचारी के मंथली इनकम से एक छोटा सा अमाउंट पीएफ खाते में हर महीने जमा किया जाता है। यही अमाउंट रिटायरमेंट के बाद कर्मचारी की बड़ी पूंजी बन जाता है।
पीपीएफ यानि पब्लिक प्रोविडेंट फंड में छोटी सी राशि का निवेश भी बड़ा फंड बना सकता है। पीपीएफ खाता खोलना भी काफी आसान है और इसे ऑनलाइन भी खोला जा सकता है। यह छोटी सी बचत कुछ ही सालों में बड़े काम की चीज बन जाती है।
पीपीएफ और सुकन्या समृद्धि योजना जैसी लोकप्रिय योजनाओं सहित सभी स्मॉल सेविंग स्कीम्स पर ब्याज दरों को एक फिर से स्टेबल रखा है। इसका मतलब है कि इन सभी छोटी स्कीम्स की ब्याज दरों में सरकार ने किसी तरह का कोई बदलाव नहीं किया है।
रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (Rserve Bank Of India) की ओर से जारी रिपोर्ट में कहा गया है कि स्मॉल सेविंग स्कीम की ब्याज दरें (Small Saving Scheme Interest Rate) 1.68 फीसदी ज्यादा हैं। जिसकी वजह से नए वित्त वर्ष की पहली तिमाही में ब्याज दर कम हो सकती हैं।
पीपीएफ नियम 2019 (PPF Rule 2019) के तहत 12 दिसंबर 2019 को या उसके बाद दोनों में से कोई भी अकाउंट खोला है - तो ऐसे पीपीएफ अकाउंट (PPF Account) को पीपीएफ ब्याज दर (PPF Interest Rate) के क्रेडिट के बिना बंद कर दिया जाएगा।
Budget 2022:आईसीएआई (ICAI) ने सुझाव दिया है कि अधिकतम पीपीएफ जमा सीमा (PPF Deposit Limit) में वृद्धि आवश्यक है क्योंकि यह सेल्फ इंप्लॉयड के लिए उपलब्ध एकमात्र सुरक्षित और कर-एफिशिएंट सेविंग स्कीम (Tax-Efficient Savings Scheme) है।
जुलाई से सितंबर तिमाही के लिए पीपीएम, सुकन्या योजना और एनएससी पर केंद्र सरकार ब्याज दर कम कर सकती है।
अगर आप पीपीएफ खाताधारक हैं, तो आपको जागरूक होना होगा। पीपीएफ जमा राशि से लेकर उसपर मिलनेवाले ब्याज तक का ध्यान आपको रखना जरूरी है। ऐसे ही 10 बातों को हम बता रहे हैं।
पीपीएफ ऐसा अकाउंट (PPF Account), जिसके बारे में लोगों का मानना है कि यह गिरी से गिरी हालत में दूसरी सरकारी योजनाओं (government scheme) से बेहतर फायदा देता है। इसको लेकर लोगों का भरोसा अब भी जमा हुआ है।