होम्योपैथी, आयुर्वेदिक और एलोपैथी के अलावा भी कई ऐसे अल्टरनेटिफ मेडिकल ट्रीटमेंट है जो लोगों की बड़ी से बड़ी बीमारी का इलाज कर देते हैं। उन्हीं में से एक है कॉफिन थेरेपी।
कॉफिन ट्रीटमेंट जैसा कि नाम से ही समझ में आ रहा है कि ताबूत का ट्रीटमेंट यानी इस थेरेपी में इंसान को मुर्दों की तरह ताबूत में लिटाया जाता है और उनका ट्रीटमेंट किया जाता है।
कॉफिन थेरेपी सदियों से चली आ रही है। खासकर चाइना के शेनयांग और साउथ कोरिया में इस थेरेपी को कई लोग करवाते हैं।
कॉफिन थेरेपी करने के लिए मरीज को सफेद कपड़े पहनाकर ताबूत में लिटाया जाता है। यहां उससे उसकी आखिरी ख्वाहिश लिखने को कहा जाता है।
ताबूत में लिटाकर इसके ढक्कन को बंद कर दिया जाता है, ताकि मरीज को यह एहसास दिलाया जा सके कि उसकी मौत हो चुकी है।
इसके बाद एक बच्चे की किलकारी की आवाज आती है, जिससे उस व्यक्ति को एहसास होता है कि उसका जन्म दोबारा हुआ है और वह जिंदगी को नए सिरे से शुरू कर सकता है।
रिपोर्ट के अनुसार, कॉफिन मानसिक समस्याओं का निजात करने के लिए बहुत कारगर मानी जाती है। इससे स्ट्रेस, एंजाइटी, डिप्रेशन को दूर किया जा सकता है।