30 जनवरी को सिद्ध योग में मनाया जाएगा वसंत पंचमी उत्सव, जानिए क्या है इस दिन का महत्व

माघ मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी को वसंत पंचमी का पर्व मनाया जाता है। इस बार ये पर्व 30 जनवरी, गुरुवार को है। धर्म ग्रंथों के अनुसार, इसी तिथि पर देवी सरस्वती प्रकट हुईं थीं।

Asianet News Hindi | Published : Jan 22, 2020 4:21 AM IST / Updated: Jan 22 2020, 10:44 AM IST

उज्जैन. काशी के ज्योतिषाचार्य पं. गणेश प्रसाद मिश्र के अनुसार, इस बार वसंत पंचमी का पर्व सिद्ध योग में मनाया जाएगा। ये योग बहुत ही खास है, इस योग में किए गए सभी कार्य सफल होते हैं।
 
पंचमी तिथि कब से कब तक?
ज्योतिषाचार्य पं. मिश्र के अनुसार, पचंमी तिथि का आरंभ 29 जनवरी, बुधवार को सुबह 8 बजकर 18 मिनट से होगा, ये तिथि 30 जनवरी, गुरुवार को सुबह 10 बजकर 28 मिनट तक रहेगी। उदया तिथि ग्राह्य होने से 30 जनवरी को ही वसंत पंचमी का पर्व मनाया जाएगा। इस बार वसंत पंचमी पर सिद्ध योग का दुर्लभ संयोग बन रहा है, जिससे सभी कामों में सफलता मिलती है।   

बुद्धि, विद्या और वाणी की देवी हैं भगवती सरस्वती
भगवती सरस्वती विद्या, बुद्धि, और वाणी की अधिष्ठात्री देवी हैं। देवी सरस्वती सत्वगुणसम्पन्ना हैं। इनके अनेक नाम हैं, जिनमें वाणी, गीः, गिरा, भाषा, शारदा, वाचा, धीश्वरी, वागीश्वरी, ब्राह्मी, गौ, सोमलता, वाग्देवी और वाग्देवता आदि अधिक प्रसिद्ध हैं। भगवती सरस्वती को प्रसन्न कर लेने पर मनुष्य संसार के सारे सुख भोगता है। इस प्रकार अमित तेजस्विनी और अनन्त गुणशालिनी देवी सरस्वती की पूजा एवं आराधना के लिए माघ मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि निर्धारित की गई है। वसंत पंचमी को इनका आविर्भाव दिवस माना जाता है। अतः वागीश्वरी जयन्ती एवं श्रीपंचमी के नाम से भी इस तिथि की प्रसिद्धि है।
 

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