बजट में लगाया जा सकता है कोविड-19 सरचार्ज, सरकार को है फंड की जरूरत

देश का केंद्रीय बजट 1 महीने से भी कम समय में पेश किया जाने वाला है। सरकार ने पहले ही यह संकेत दे दिया है कि यह बजट पहले की तुलना में बिल्कुल अलग होगा। अब यह अनुमान लगाया जा रहा है कि सरकार 2021-22 के आम बजट में कोविड-19 सरचार्ज को भी शामिल कर सकती है।

Asianet News Hindi | Published : Jan 3, 2021 8:11 AM IST / Updated: Jan 26 2021, 01:23 PM IST

बिजनेस डेस्क। देश का केंद्रीय बजट 1 महीने से भी कम समय में पेश किया जाने वाला है। सरकार ने पहले ही यह संकेत दे दिया है कि यह बजट पहले की तुलना में बिल्कुल अलग होगा। अब यह अनुमान लगाया जा रहा है कि सरकार 2021-22 के आम बजट में कोविड-19 सरचार्ज को भी शामिल कर सकती है। आर्थिक मामलों के जानकारों का कहना है कि यह बजट 'आत्मनिर्भर भारत' को ध्यान में रखते हुए बनाया जाएगा और इस समय सरकार को फंड की बहुत ज्यादा जरूरत है।

लग सकता है कोविड-19 सरचार्ज
आर्थिक मामलों के कई जानकारों का कहना है कि सरकार रेवेन्यू घाटा और कोरोना वैक्सीन के खर्चे को देखते हुए कोविड-19 सरचार्ज लगा सकती है। इस समय सरकार को फंड की काफी जरूरत है। सरकार पहले से ही डिसइन्वेस्टमेंट (Disinvestment) की नीति के तहत सरकारी कंपनियों की हिस्सेदारी बेच कर फंड जुटाने में लगी हुई है।

ग्लोबल ग्रोथ का नेतृत्व करेगा भारत
दिसंबर 2020 में एक आयोजन के दौरान वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा था कि भारत आर्थिक क्षेत्र में दुनिया में होने वाले विकास (Golabal Growth) का नेतृत्व करने के लिए तैयार है। जाहिर है, इसके लिए सरकार अपना खर्च बढ़ाएगी। इसके लिए डिमांड और इन्वेस्टमेंट की जरूरत होगी। ऐसे में, सरकार छोटे करदाताओं को आर्थिक तौर पर मजबूत करना चाहेगी। इसके लिए टैक्स स्लैब में भी बदलाव किया जा सकता है। दूसरी तरफ, सरकार प्रोडक्शन लिंक्ड इन्सेंटिव (PLI) योजना के तहत फॉरेन इन्वेस्टमेंट को भी आकर्षित करने की कोशिश में लगी है।

'आत्मनिर्भर भारत' पर है पूरा ध्यान
सरकार का पूरा ध्यान फिलहाल 'आत्मनिर्भर भारत' से जुड़ी योजनाओं को आगे बढ़ाने पर है। साल 2020 में सरकार ने प्रोडक्शन लिंक्ड इन्सेंटिव (PLI) योजना के तहत 10 मुख्य सेक्टर्स को अगले 5 साल में 2 लाख करोड़ रुपए की मदद करने की घोषण की है। इनमें फार्मा, टेलिकॉम, ऑटोमोबाइल, ऑटो कम्पोनेन्ट, टेक्सटाइल और फूड प्रोडक्ट्स शामिल हैं। सरकार का मानना है कि इससे मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर की हालत में सुधार होगा और नई नौकरियां निकलेंगी। इसके साथ ही विदेशी निवेश भी बढ़ेगा। इसके अलावा, बजट में प्रवासी मजूदरों के लिए भी कुछ घोषणा हो सकती है, जो कोरोना महामारी से बुरी तरह प्रभावित हुए हैं।   

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