ये फोटो लंबे-चौड़े मैसेज के साथ शेयर की जा रही है। लोग हैदाराबाद गैंगरेप और आरोपियों के एनकाउंटर बाद इस फोटो को शेयर करते हुए इन आरोपियों के लिए एनकाउंटर की मांग कर रहे हैं।
नई दिल्ली. निर्भया गैंगरेप के आरोपियों को जल्द ही फांसी होने वाली है। दया याचिका खारिज होने के बाद फांसी का ट्रायल भी हो चुका है। इस बीच सोशल मीडिया पर निर्भया के नाबालिग आरोपी के दावे के साथ ये फोटो जमकर वायरल हो रही है। फेसबुक यूजर दिव्या सिंह ने लिखा- इस फोटो को देख इस शख्स को कोई फिल्म स्टार न समझे ये निर्भया गैंगरेप का जुवेनाइल आरोपी मोहम्मद अफरोज है जिसने दया याचिका दायर की थी।
इसी दावे के साथ ये फोटो लंबे-चौड़े मैसेज के साथ शेयर की जा रही है। लोग हैदाराबाद गैंगरेप और आरोपियों के एनकाउंटर बाद इस फोटो को शेयर करते हुए इन आरोपियों के लिए एनकाउंटर की मांग कर रहे हैं।
वायरल पोस्ट में क्या है?
ये निर्भया गैंगरेप का जुवेनाइल आरोपी मोहम्मद अफरोज है जिसने दया याचिका दायर की थी। ये कभी पब्लिक में नजर नहीं आया लेकिन अब देखिए 7 साल बाद बड़ा होकर खुद को फिल्मी स्टार समझ रहा है। आखिर कब तक ये आरोपी नाबालिग मानकर खुले छोड़ दिए जाएंगे और ये बड़े होकर खुद को सेलेब्रिटी बना लेंगे। हमारे टैक्स के पैसे पर पलने वाले ये आरोपी 7 साल में इतना बदल चुका है। ये गैंगरेप करते समय बालिग हो जाते हैं और सजा के समय कानून की नजर में नाबालिग हो जाते हैं। क्या इस तरह निर्भया के मां-बाप को न्याय मिला है? सैल्यूट है हमारे भारतीय कानून को।
ट्विटर पर भी वायरल पोस्ट-
उसी जानकारी को ट्विटर पर भी इन्फ़ोग्राफ़िक के रूप में पोस्ट किया गया है। लिखा गया कि, “निर्भयाकांड का मुख्य आरोपी जिसने गैंगरेप किया और रॉड डालकर आंते निकाल ली यही वो राक्षस मोहम्मद अफरोज है जो जेल से बाहर है। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने इसे 10 हजार रुपये और एक सिलाई मशीन दी थी। अब मोहम्मद अफरोज बालिग हो गया है, इसे फांसी दिए बिना निर्भय का न्याय अधूरा रहेगा।
दावे की सच्चाई क्या है?
पोस्ट के वायरल होने के बाद ये हमारे संज्ञान में आई तो हमने फैक्ट चेकिंग की। गूगल रिवर्स सर्च इमेज में हमने जांच की तो जानकारी को गलत पाया। सोशल मीडिया पर प्रसारित ये तस्वीर निर्भया मामले में जुवेनाइल अपराधी की नहीं है और उसके नाम को भी जारी नहीं किया गया था। हालांकि ये फोटो में जो लड़का है वो निर्भया का ही अपराधी विनय शर्मा है। इसे मौत की सजा दी गई है। द हिंदू द्वारा अगस्त 2016 में प्रकाशित खबर के मुताबिक विनय शर्मा एक जिम असिस्टेंट के तौर पर काम करता था और साल 2016 में इसने भी आत्महत्या करने की कोशिश की थी।
निष्कर्ष-
हम आपको बता दें कि ऊपर वायरल की गई फोटो और जानकारी पूरी तरह गलत है। ये फोटो चौथे अपराधी विनय शर्मा की है जुवेनाइल की नहीं। साथ ही इस फोटो के साथ लिखी गई जानकारी भी पूरी तरह गलत है क्योंकि इसने दया याचिका दायर नहीं की थी। वहीं मीडिया ने निर्देश के अनुसार जुवेनाइल अपराधी का नाम और तस्वीर उजागर नहीं किया था।