सोशल मीडिया पर छाईं दिहाड़ी मजदूर की IAS टॉपर बेटी रेवती, झूठ देख FACT CHECK में खुद बतानी पड़ी अपनी कहानी

फैक्ट चेक डेस्क.  IAS Topper 3rd Rank Revathi Fack Check: सोशल मीडिया पर दो तस्वीरें वायरल हो रही हैं जिनमें दावा किया गया है कि कर्नाटक में एक ग़रीब, दिहाड़ी मजदूर के परिवार की लड़की रेवती ने UPSC की परीक्षा में तीसरा स्थान हासिल किया है। मैसेज में बताया गया है कि उसे IAS के लिए चुन लिया गया है।  बंगाल भाजपा के स्टेट जॉइंट सेक्रेटरी अमिताभ चक्रवर्ती उन लोगों में से हैं जिन्होंने 27 जून 2020 को ये तस्वीरें ट्वीट की। हजारों लाइक्स और कमेंट्स के बीच ये तस्वीर सोशल मीडिया पर लहरा रहा है। पर रेवती से जब मीडिया ने बात की तो उन्होंने इस बात पर हैरानी जताई और सच उगल दिया।  

 

आइए फैक्ट चेक में कर्नाटक की थर्ड रैंक आईएएस अफसर बताई जाने वाली इस वायरल पोस्ट का पोस्ट मार्टम करते हैं- 

Asianet News Hindi | Published : Jun 29, 2020 8:07 AM IST / Updated: Jun 29 2020, 01:47 PM IST

17
सोशल मीडिया पर छाईं दिहाड़ी मजदूर की IAS टॉपर बेटी रेवती, झूठ देख FACT CHECK में खुद बतानी पड़ी अपनी कहानी

वायरल पोस्ट क्या है? 

 

वायरल पोस्ट में दो तस्वीरें साझा हैं जिनमें एक गरीब परिवार बेटी को मिठाई खिला रहा है। पीछे झोपड़ पट्टी जैसा घर है। लोगों का दावा है कि ये कर्नाटक में दिहाड़ी मजदूर की बेटी रेवती हैं जिन्होंने UPSC की परीक्षा में तीसरा स्थान हासिल किया है। लोग उसे युवाओं की रोल मॉडल बताकर बधाई देने की अपील कर रहे हैं। 

27

गाल भाजपा के स्टेट जॉइंट सेक्रेटरी अमिताभ चक्रवर्ती के अलावा जम्मू और कश्मीर भाजपा के जिला उपाध्यक्ष अर्सलान मलिक ने भी दोनों तस्वीरें ट्वीट कीं।

 

 

37

देवेश कुमार चौबे नाम की फ़ेसबुक प्रोफ़ाइल से किये गए पोस्ट को 28,000 से ज़्यादा बार शेयर किया गया। Aathi Agathiar नाम के ग्रुप से भी इसे 1,000 से ज़्यादा बार शेयर किया गया है। 

47

फैक्ट चेकिंग 

 

ये दोनों तस्वीरें सोशल मीडिया पर 2017 से वायरल हो रही हैं। Indian Administrative service – IAS नाम के फ़ेसबुक पेज से किये गए इस पोस्ट को 94,000 से ज़्यादा बार शेयर किया गया था। कई यूज़र्स ने इसे 2017 में शेयर किया था। भाजपा सांसद सोनल मानसिंह ने ये तस्वीर 7 जुलाई 2017 को शेयर की थी। 

57

हमने गूगल चेक करके 2016 के UPSC परीक्षा के कैंडिडेट्स की पूरी लिस्ट देखी (रिज़ल्ट 2017 में घोषित किए गए) और पाया कि रेवती नाम की कोई कैंडिडेट नहीं थी जिसने तीसरा स्थान हासिल किया हो। दरअसल तीसरी रैंक पाने वाले कैंडिडेट का नाम गोपाल कृष्ण रोनंकी था।
 

67

सच क्या है? 

 

गूगल इमेज सर्च ने हमें journalismpower.com नाम की तेलुगु वेबसाइट के लिंक पर पहुंचाया जहां 26 मार्च 2017 को रेवती के बारे में एक आर्टिकल पब्लिश किया गया था। आर्टिकल के मुताबिक वेकेंट रेवती आंध्रप्रदेश के कृष्णा जिले में अवनीगड्डा के एक ग़रीब परिवार से आती है। कॉलेज की पढ़ाई पूरी करने के बाद रेवती ने आंध्रप्रदेश पुलिस की परीक्षा दी और सब-इंस्पेक्टर (SI) पद के लिए चुनी गईं।

 

मीडिया ने जब अवनीगड्डा पुलिस थाने से सम्पर्क किया जहां से SI रेवती का नंबर मिला। उन्होंने बताया कि वे IAS अफ़सर नहीं हैं। उनका पूरा नाम मथी वेंकट रेवती (28) है और वे मोदुमुड़ी गांव से आती हैं। वो फ़िलहाल राजमुंद्री ज़िले के दिशा पुलिस थाने में तैनात हैं। सब-इंस्पेक्टर रेवती ने मीडिया से अपनी हाल की तस्वीर भी शेयर की।

77

ये निकला नतीजा

 

यानी ‘कर्नाटक की रेवती ने UPSC परीक्षा में तीसरी रैंक हासिल की’, ये झूठा दावा 2017 से वायरल हो रहा है। सच ये है कि वे 2017 में आंध्रप्रदेश पुलिस की परीक्षा देने के बाद सब-इंस्पेक्टर चुनी गई थीं। सोशल मीडिया पर उनको लेकर झूठ फैलाया गया। रेवती यूं भी देश के सैकड़ों युवाओं की प्रेरणा हैं और उन्होंने मेहनत के बलबूते अपने सपने पूरे किए हैं। 

Share this Photo Gallery
click me!
Recommended Photos