छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने ऐलान कर दिया है कि सरकार ने एनआरसी लागू करती है तो उस पर हस्ताक्षर न करने वाला पहला व्यक्ति बनूंगा। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि मैं गांधी जी ने जिस प्रकार अंग्रेजों के खिलाफ आंदोलन शुरू किया था उसी प्रकार मैं काले अंग्रेज आंदोलन करूंगा
रायपुर. नागरिकता कानून को लेकर मचे संग्राम पर राजनीति अपने चरम पर है। देश भर में एक ओर जहां जगह-जगह हिंसात्मक प्रदर्शन किया जा रहा है। वहीं, सियासी दलों का विरोध जारी है। इन सब के बीच नेताओं के बयानों ने इस विवाद को और बल दे दिया है। इसी क्रम में छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने ऐलान कर दिया है कि सरकार ने एनआरसी लागू करती है तो उस पर हस्ताक्षर न करने वाला पहला व्यक्ति बनूंगा।
यह कहा बघेल ने
उन्होंने एनआरसी और सीएबी को लेकर केंद्र सरकार और बीजेपी पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि यदि एनआरसी को लागू किया जाता है तो मैं सबसे पहला व्यक्ति होऊंगा जो उस रजिस्टर पर सिग्नेचर नहीं करूंगा। उन्होंने कहा कि साउथ अफ्रीका में गांधी जी ने अंग्रेजों के खिलाफ आंदोलन की शुरूआत की थी। उसी प्रकार मैं काले अंग्रेज नामक आंदोलन करूंगा।
अगर प्रमाणित नहीं कर पाएगा तो क्या करेगा
सीएम ने केंद्र सरकार के महत्वाकांक्षी NRC बिल पर सवाल उठाते हुए कहा कि एनआरसी में हर नागरिक को बताना पड़ेगा कि वह भारतीय है। सवाल यह है कि अगर वह प्रमाणित नहीं कर पाएगा तब क्या होगा। सीएम ने कहा कि यदि ये लोग नागरिकता प्रमाण पत्र नहीं बना पाए तब भारत सरकार में बैठे लोग उनको कहां भेजेंगे ।
जाफराबाद, सीलमपुर में हिंसा
नागरिकता कानून के खिलाफ रविवार को जामिया नगर इलाके में हुए बवाल की आग अभी शांत भी नहीं हुई थी कि तीसरे दिन मंगलवार की दोपहर में उत्तर पूर्वी दिल्ली जिले में हिंसा फैल गई। हिंसा की शुरुआत जाफराबाद और सीलमपुर इलाके से करीब दो बजे के आसपास हुई। देखते-देखते हिंसा और आगजनी वेलकम, शास्त्री पार्क इलाकों में फैल गई। हमलावरों ने पथराव करके बस के शीशे चकनाचूर कर दिए। इसके बाद भीड़ ने राहगीरों को निशाना बनाना शुरू कर दिया। उपद्रवियों के हमले से बचने के लिए राहगीरों ने वाहन छोड़कर मौके से जान बचाने के लिए भागना शुरू कर दिया।