पूर्वी लद्दाख में पैंगोंग त्सो लेक पर डिसइंगेजमेंट की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। दोनों देशों की सेनाओं के पीछे हटने को लेकर आर्मी चीफ जनरल एमएम नरवणे ने कहा, मुझे लगता है कि यह बहुत अच्छा नतीजा रहा। उन्होंने कहा, यह दोनों देशों के लिए जीत जैसा है।
नई दिल्ली. पूर्वी लद्दाख में पैंगोंग त्सो लेक पर डिसइंगेजमेंट की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। दोनों देशों की सेनाओं के पीछे हटने को लेकर आर्मी चीफ जनरल एमएम नरवणे ने कहा, मुझे लगता है कि यह बहुत अच्छा नतीजा रहा। उन्होंने कहा, यह दोनों देशों के लिए जीत जैसा है। जनरल नरवणे ने कहा, दोनों देशों के बीच हुई 10 दौर की बातचीत से ये परिणाम आया।
आर्मी चीफ जनरल एमएम नरवणे विवेकानंद इंटनेशनल फाउंडेशन की ओर से आयोजित एक वेबिनार में बोल रहे थे। उन्होंने कहा, चीन के साथ भारत का रिश्ता वैसा ही होगा, जैसा हम जाएंगे। उन्होंने कहा, यह पूरी तरह से सरकार पर निर्भर करता है कि चीन के साथ हमारा रिश्ता उसी तरह से विकसित होगा, जैसा हमारी इच्छा उसे विकसित करने की होगी।
कोई नहीं चाहता सीमा पर अस्थिरता हो- जनरल नरवणे
सेना प्रमुख एमएम नरवणे ने कहा, पड़ोसी के तौर पर हम चाहेंगे कि सीमा पर शांति और स्थिरता रहे और कोई नहीं चाहता कि सीमा पर किसी तरह की अस्थिरता रहे। उन्होंने कहा, भारत एक दो नहीं बल्कि ढाई मोर्चे की लड़ाई के लिए लंबे समय से रणनीति बनाता है। दरअसल, वे आधे मोर्चे के साथ आंतरिक सुरक्षा का जिक्र कर रहे थे।
सभी पक्षों ने मिलकर काम किया
सेना प्रमुख ने कहा, चीन के साथ गतिरोध के साथ ही भारत के सभी पक्षों ने एख साथ काम किया। उन्होंमने कहा, राजनीतिक स्तर पर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और विदेश मंत्री एस जयशंकर ने अपने समकक्षों से बात की।