दिल्ली के पुलिस आयुक्त राकेश अस्थाना ने कहा कि जहांगीरपुरी हिंसा (Jahangirpuri violence) मामले में किसी भी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा। कुछ लोग सोशल मीडिया (Social Media) पोस्ट के जरिए शांति भंग करने की कोशिश कर रहे हैं। पुलिस (Delhi Police) सोशल मीडिया की भी जांच कर रही है।
नई दिल्ली। दिल्ली के पुलिस आयुक्त राकेश अस्थाना ने सोमवार को कहा कि जहांगीरपुरी इलाके में भड़की हिंसा (Jahangirpuri violence) के मद्देनजर गलत सूचना के प्रसार को रोकने के लिए पुलिस सोशल मीडिया की निगरानी कर रही है। शांति भंग करने की कोशिश करने वाले दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
राकेश अस्थाना ने कहा कि कुछ लोग सोशल मीडिया पोस्ट के जरिए शांति भंग करने की कोशिश कर रहे हैं। हम सोशल मीडिया पर करीब से नजर रख रहे हैं और गलत सूचना फैलाने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। लोगों को अफवाहों पर ध्यान नहीं देना चाहिए। हिंसा में दोषी पाए जाने वाले लोगों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
एफएसएल की टीमों ने किया घटनास्थल का दौरा
अस्थाना ने कहा कि दोषी चाहे किसी भी वर्ग, पंथ, समुदाय और धर्म का हो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। हिंसा में नौ लोग घायल हुए हैं, जिनमें ड्यूटी पर तैनात पुलिसकर्मी भी शामिल हैं। अब तक 23 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। पुलिस घटना के सीसीटीवी फुटेज का विश्लेषण कर रही है। फोरेंसिक साइंस लैबोरेटरी की टीमों ने सोमवार को घटनास्थल का दौरा किया है।
राकेश अस्थाना ने उन आरोपों को खारिज किया, जिसमें कहा गया है कि पुलिस एक पक्ष के लोगों को टारगेट कर रही है। उन्होंने कहा कि दोनों पक्ष के लोगों को गिरफ्तार किया गया है। हिंसा क्यों भड़की? इस सवाल पर राकेश अस्थाना ने कहा कि जांच चल रही है। इसके बारे में अभी कुछ भी कहना ठीक नहीं है। इस बीच अपराध शाखा के विशेष पुलिस आयुक्त रवींद्र यादव ने कहा कि दिल्ली पुलिस की अपराध शाखा और जिला पुलिस संयुक्त रूप से घटना की जांच कर रही है। किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए हिंसा प्रभावित इलाके में भारी सुरक्षा व्यवस्था की गई है।
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शोभायात्रा के दौरान हुई थी हिंसा
बता दें कि दिल्ली के जहांगीरपुरी में शनिवार को हिंसा हुई थी। हनुमान जयंती के अवसर पर निकाली गई शोभायात्रा में शामिल लोगों से 4-5 लोगों ने पहले बहस की थी। इसके बाद पथराव शुरू हो गया। उपद्रवियों ने आगजनी और गोलीबारी भी की थी। दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच और जिला पुलिस मिलकर मामले की जांच कर रही है। पुलिस को अब तक हिंसा से जुड़े करीब 150 वीडियो मिले हैं। पुलिस वीडियो के आधार पर आरोपियों की पहचान कर रही है। 100 से अधिक आरोपियों की पहचान की गई है।
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