चालान पर केंद्र Vs राज्य : मोदी सरकार के इस फैसले को बीजेपी शासित 7 राज्य नहीं दे रहे ग्रीन सिग्नल

1 सितंबर से देश में लागू हुए नए मोटर व्हीकल एक्ट के खिलाफ खुद बीजेपी शासित कई राज्य हैं। मोदी सरकार ने नए मोटर व्हीकल एक्ट को लागू करने के साथ ही ट्रैफिक नियमों के उल्लंघन पर जुर्माने की राशि कई गुना बढ़ा दी है।

Asianet News Hindi | Published : Sep 12, 2019 6:21 AM IST

नई दिल्ली. 1 सितंबर से देश में लागू हुए नए मोटर व्हीकल एक्ट के खिलाफ खुद बीजेपी शासित कई राज्य हैं। मोदी सरकार ने नए मोटर व्हीकल एक्ट को लागू करने के साथ ही ट्रैफिक नियमों के उल्लंघन पर जुर्माने की राशि कई गुना बढ़ा दी है। कई गुना बढ़े जुर्माने की राशि के बाद से लोगों में खासी नाराजगी देखने को मिल रही है। इसका ताजा उदहारण देखने को मिला बीजेपी शासित राज्यों में जहां उन्होंने इस कानून को या तो मानने से इनकार कर दिया है या जुर्माने की रकम घटा दी।

यह एक्ट फडणवीस सरकार ने नहीं होने दिया लागू
इस कड़ी में महाराष्ट्र की फडणवीन सरकार ने केंद्र सरकार के इस फैसले को मानने से इंकार कर दिया। बड़ी बात तो ये है कि केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी जहां इस कानून को दुर्घटना रोकने के लिए जरूरी बता रहे हैं, वहीं उन्हीं के राज्य में अब यह प्रावधान लागू नहीं होगा।

अन्य राज्यों ने इस कानून में बरती नरमी
गुजरात और उत्तराखंड में भी भाजपा की सरकार है उन्होंने ने भी ट्रैफिक नियमों के उल्लंघन पर लगने वाले जुर्माने की राशि आधी कर दी है। गुजरात में नया नियम 16 सितंबर से लागू होगा। वहीं, खबर है कि कर्नाटक की बीजेपी सरकार भी नए मोटर व्हीकल एक्ट के प्रावधानों में ढील दे सकती है। इस संबंध में राज्य के मुख्यमंत्री बीएस येद्युरप्पा ने अधिकारियों को गुजरात मॉडल का अध्ययन करने को कहा है। यहां भी कुछ दिनों के अंदर इस कानून में नरमी बरती जा सकती है।

कांग्रेस शासित इन राज्यों उठाए कदम
वहीं बात की जाए अन्य राज्यों की तो जिन राज्यों में कांग्रेस या किसी अन्य दल की सरकार है वहां की सरकारों ने भी नए नियमों में नरमी बरतने के संकेत दिए हैं। इन राज्यों में पंजाब, राजस्थान, मध्य प्रदेश, ओडिशा और छत्तीसगढ़ हैं। पश्चिम बंगाल की ममता सरकार ने नए नियम को अत्यधिक कठोर बताते हुए लागू करने से इंकार कर दिया है।

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