राजस्थान में सियासी उठापटक: गहलोत सरकार की बढ़ी मुश्किलें, बीजेपी कल लाएगी अविश्वास प्रस्ताव

विधानसभा में भाजपा के नेता गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि 'कांग्रेस अपने घर में टांका लगाकर कपड़े को जोड़ना चाह रही है, लेकिन कपड़ा फट चुका है। ये सरकार जल्द ही गिरने वाली है। बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया ने कहा कि 'यह सरकार अपने विरोधाभास से गिरेगी, बीजेपी पर झूठा आरोप लगा रहे हैं।'

Asianet News Hindi | Published : Aug 13, 2020 10:05 AM IST

जयपुर. राजस्थान में सियासी हलचल तेज हो गई है। पिछले काफी दिनों से राज्य में सियासी उठापटक लगी हुई है। ऐसे में 14 अगस्त से विधानसभा सत्र भी शुरू होने जा रहा है। 13 अगस्त गुरुवार को हुई बीजेपी के विधायकों दलों की बैठक के बाद अब भाजपा ने ऐलान किया है कि वो सत्र के पहले ही दिन शुक्रवार को सदन में अविश्वास प्रस्ताव लाएगी। ऐसे में अशोक गहलोत सरकार के सामने बहुमत साबित करने की बड़ी चुनौती है। 

भाजपा नेता ने कांग्रेस पर साधा निशाना 

विधानसभा में भाजपा के नेता गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि 'कांग्रेस अपने घर में टांका लगाकर कपड़े को जोड़ना चाह रही है, लेकिन कपड़ा फट चुका है। ये सरकार जल्द ही गिरने वाली है। बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया ने कहा कि यह सरकार अपने विरोधाभास से गिरेगी, बीजेपी पर झूठा आरोप लगा रहे हैं। लेकिन, इनके घर के झगड़े से बीजेपी का कोई लेना देना नहीं है।' बता दें कि गुरुवार को ही भारतीय जनता पार्टी ने जयपुर में विधायकों के साथ बड़ी बैठक की। इसमें पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे भी शामिल हुईं, जबकि केंद्रीय नेतृत्व की ओर से प्रतिनिधि ने भी बैठक में हिस्सा लिया।

14 अगस्त से शुरू होगा विधानसभा सत्र

राज्यपाल के आदेश के बाद 14 अगस्त से विधानसभा का सत्र शुरू होने जा रहा है। हालांकि, राज्य सरकार की ओर से अभी सिर्फ कोरोना वायरस संकट, लॉकडाउन और अन्य मुद्दों पर चर्चा की बात कही गई थी। इस बीच अब अगर भारतीय जनता पार्टी अविश्वास प्रस्ताव लाती है तो चर्चा के बाद अशोक गहलोत सरकार को अपना बहुमत साबित करना ही होगा।

क्या गहलोत सरकार साबित कर पाएगी बहुमत?

कांग्रेस से बगावत करने वाले सचिन पायलट एक बार फिर से पार्टी के पास पहुंच गए हैं, गुरुवार शाम को होने वाले कांग्रेस विधायक दल की बैठक में अशोक गहलोत और सचिन पायलट गुट के विधायक शामिल होंगे। बताया जा रहा है कि पायलट गुट की वापसी से कई विधायत नाराज हैं और इसकी ही चिंता पार्टी आलाकमान को सता रही है। 

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