दादा को भारत रत्न मिलने के बाद जयंत चौधरी ने किया आरएलडी का एनडीए में जाने का ऐलान, बोले-अब मैं कैसे प्रस्ताव को अस्वीकार कर सकता

आरएलडी प्रमुख ने कहा कि वह प्रस्ताव को अस्वीकार नहीं कर सकते हैं। चौधरी ने कहा कि अब मैं इस प्रस्ताव को कैसे अस्वीकार कर सकता हूं।

 

Dheerendra Gopal | Published : Feb 9, 2024 9:53 AM IST / Updated: Feb 09 2024, 04:34 PM IST

RLD with NDA: यूपी में एनडीए को बड़ी सफलता मिली है। पश्चिमी यूपी की प्रभावशाली राष्ट्रीय लोकदल को अपने कुनबे में शामिल करने जा रही है। पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न के ऐलान के साथ आरएलडी प्रमुख जयंत चौधरी ने लोकसभा चुनाव 2024 में बीजेपी के साथ गठबंधन की पुष्टि की है। गठबंधन को लेकर लगाई जा रही अटकलों को कंफर्म करते हुए आरएलडी प्रमुख ने कहा कि वह प्रस्ताव को अस्वीकार नहीं कर सकते हैं। चौधरी ने कहा कि अब मैं इस प्रस्ताव को कैसे अस्वीकार कर सकता हूं।

जयंत ने की मोदी की तारीफ

आरएलडी प्रमुख ने कहा कि वह प्रस्ताव को अस्वीकार नहीं कर सकते हैं। चौधरी ने कहा कि अब मैं इस प्रस्ताव को कैसे अस्वीकार कर सकता हूं। उन्होंने कहा कि मोदी के दृष्टिकोण ने वह कर दिखाया जो अब तक कोई अन्य पार्टी नहीं कर सकी। उन्होंने कहा कि सीटों या वोटों के बारे में बात करने से यह दिन कम महत्वपूर्ण हो जाएगा जब मुझे बधाई दी जा रही है और पीएम मोदी ने एक निर्णय दिया है जो साबित करता है कि वह देश की मूल भावनाओं और चरित्र को समझते हैं।

इंडिया गठबंधन को बड़ा झटका

जयंत चौधरी के बयान ने इंडिया गठबंधन को एक बड़ा झटका लगा है। नीतीश कुमार के गठबंधन छोड़ने के बाद यूपी जैसे बड़े प्रदेश की प्रमुख पार्टी का गठबंधन को बॉय बोलना बेहद नुकसानदायक साबित हो सकता है। दरअसल, राष्ट्रीय लोकदल और सपा के बीच काफी दिनों से तनाव सामने आ रहे थे। सीटों के बंटवारे को लेकर समाजवादी पार्टी लगातार दबाव बना रही थी। वह राष्ट्रीय लोकदल को सीटें देने के साथ अपने कैंडिडेट लड़ाने का दबाव बना रही थी। बताया जा रहा है कि पश्चिमी यूपी में मजबूत पकड़ वाले राष्ट्रीय लोकदल के नेता जयंत चौधरी, समाजवादी पार्टी के दबाव से नाखुश थे। इसी बीच बीजेपी की ओर से उन पर लगातार एनडीए में शामिल होने का दबाव बन रहा था। ऐसे में उनके दादा और किसानों के मसीहा चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न का ऐलान कर मोदी सरकार ने मास्टर स्ट्रोक खेल दिया जिससे जयंत के पास कोई चारा नहीं बचा।

जयंत चौधरी की आरएलडी का पश्चिमी उत्तर प्रदेश में प्रभाव है और भाजपा को इस क्षेत्र में फायदा होने की उम्मीद है जो प्रभावशाली जाट समुदाय का घर है। दरअसल, 2019 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी को उत्तर प्रदेश में जो 16 सीटें हारी थीं उनमें से सात पश्चिम यूपी की थीं। वह मुरादाबाद मंडल की सभी छह सीटें हार गई।

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