इस मंदिर में होती है अंडरगारमेंट्स की पूजा, कहते हैं इसे ब्रा टेंपल

 इस दुनिया में एक से बढ़ कर एक ऐसी चीजें हैं, जिनके बारे में जानकर आदमी हैरान हो जाता है। अब जापान के इस मंदिर को देखें जहां सिर्फ अंडरगारमेट्स की पूजा होती है।

Asianet News Hindi | Published : Aug 26, 2019 3:46 AM IST / Updated: Aug 26 2019, 09:19 AM IST

टोक्यो। दुनिया में एक से बढ़ कर एक ऐसी चीजें हैं, जिन पर भरोसा कर पाना आसान नहीं। लेकिन सच तो आखिर सच ही होता है, यह अलग बात है कि ऐसी सच्चाई हर किसी को अचरज में डाल देती है। अब जापान के इस मंदिर को लें। यह दुनिया में इसलिए अनूठा है, क्योंकि यहां सिर्फ अंडरगारमेंट्स की पूजा होती है और खास कर ब्रा चढ़ाई जाती है। जापान के इबारकी में बना यह मंदिर दुनिया भर में मशहूर है। यह टोक्यो के पास प्रशांत महासगार के उत्तर-पूर्व सीमा पर स्थित है। पहले यह एक बौद्ध मंदिर था। बाद में यहां स्तनों की देवी छिचिगमीसम की पूजा की जाने लगी। कहा जाता है कि इस मंदिर में महिलाएं सुरक्षित प्रेग्नेंसी और ब्रेस्ट कैंसर से बचाव के लिए  देवी छिचिगमीसम की पूजा करती हैं। 

होती है मनोकामना पूरी
ऐस मान्यता है कि इस मंदिर में पूजा करने और अंडरगारमेंट्स का चढ़ावा चढ़ाने वाली महिलाओं की मनोकामना जरूर पूरी होती है। जिन महिलाओं की मन्नत यहां पूरी हो जाती है, वे यहां आकर ब्रा चढ़ाती हैं। इसके अलावा, इस मंदिर में रूई और कपड़े से बने नकली स्तन भी चढ़ाए जाते हैं, जिन्हें मंदिर में अलग से सजा कर रखा गया है। 

कुछ समय पहले मंदिर किया गया था बंद
कुछ समय पहले एक पुजारी ने इस मंदिर में धोखाधड़ी की थी, जिसके बाद पैदा हुए विवाद के चलते मंदिर बंद कर दिया गया था। पर अब फिर से महिलाएं यहां मन्नत मांगने आती हैं और मनोकामना पूरी होने पर चढ़ावा चढ़ाती हैं। इस मंदिर में वैसे लोग काफी तादाद में आते हैं, जो अद्भुत और पुरानी चीजें देखने के शौकीन हैं। यहां एक कमरे की छत से ढेर सारी ब्रा लटकी देखना बेहद आश्चर्यजनक है। यही वजह है कि इसे ब्रा टेंपल के नाम से जाना जाता है। 

रात में दिखती हैं यहां अजीबोगरीब चीजें
यह मंदिर काफी रहस्यमय है। दिन में तो लोग यहां आराम से घूम कर चले जाते हैं, पर रात में इस मंदिर में अजीबोगरीब चीजें दिखाई पड़ती हैं और आवाजें भी सुनाई पड़ती हैं, जिससे लोग डर जाते हैं। कहते हैं कि देवी को लोगों का यहां रात में आना पसंद नहीं है। रात में इस मंदिर में इक्का-दुक्का लोग ही नजर आते हैं, जो मंदिर के पुजारी या रखवाले होते हैं।  
 

Share this article
click me!