रूस की यूक्रेन को धमकी-Donetsk और Lugansk में सैन्य अभियान रोके या अधिक रक्तपात को रहे तैयार

Published : Feb 22, 2022, 06:27 AM ISTUpdated : Feb 22, 2022, 06:28 AM IST
रूस की यूक्रेन को धमकी-Donetsk और Lugansk में सैन्य अभियान रोके या अधिक रक्तपात को रहे तैयार

सार

रूस ने हाल के महीनों में हजारों सैनिकों को यूक्रेन की सीमाओं के पास के क्षेत्रों में स्थानांतरित कर दिया है। डेढ़ लाख से अधिक सैनिक पूर्ण रूप से युद्ध के मोड में बार्डर पर हैं। हालांकि, अब यूक्रेन के दो हिस्सों को मान्यता के बाद रूस सेना का इस्तेमाल शांति-व्यवस्था कायम रखने के नाम पर करने जा रहा है।

मॉस्को। राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने सोमवार को रूस की सेना को यूक्रेन के दो अलग-अलग क्षेत्रों में शांति सैनिकों के रूप में कार्य करने का आदेश दिया है। पुतिन ने यह आदेश पूर्वी यूक्रेन के दो अलगाववादी हिस्सों को अलग गणराज्य के रूप में स्वतंत्र मान्यता देने के कुछ ही घंटों के बाद दिए हैं। दो आधिकारिक फरमानों में, पुतिन ने रक्षा मंत्रालय को डोनेट्स्क और लुगांस्क क्षेत्रों में शांति व्यवस्था कायम रखने के लिए काम करने का आदेश दिया है। उधर, पुतिन ने पश्चिमी देशों को भी साफ तौर पर कहा कि वह रूस को प्रतिबंध की धमकियों से डराने की कोशिश न करे। 

हालांकि, मॉस्को ने किसी भी तैनाती के लिए कोई विवरण या तारीख नहीं दी, केवल यह कहने के आदेश के साथ कि यह उस दिन से लागू होता है जिस पर हस्ताक्षर किए गए थे। पुतिन ने विदेश मंत्रालय को राजनयिक संबंध भी स्थापित करने का आदेश जारी किया है।

यूक्रेन बार्डर पर रूस ने पहले से तैनात कर रखी है फौज

रूस ने हाल के महीनों में हजारों सैनिकों को यूक्रेन की सीमाओं के पास के क्षेत्रों में स्थानांतरित कर दिया है। डेढ़ लाख से अधिक सैनिक पूर्ण रूप से युद्ध के मोड में बार्डर पर हैं। हालांकि, अब यूक्रेन के दो हिस्सों को मान्यता के बाद रूस सेना का इस्तेमाल शांति-व्यवस्था कायम रखने के नाम पर करने जा रहा है। क्योंकि अलगाववादी क्षेत्रों जिसे रूस एक स्वतंत्र गणराज्य की मान्यता दे चुका है, में रूस शांति कायम रखने के नाम पर प्रवेश कर सकेगा। इससे पूर्वी यूक्रेन क्षेत्र में रूसी सैन्य गतिविधियां बढ़ेंगी। पुतिन ने उसी आदेश में अपने विदेश मंत्रालय को गणराज्यों के साथ राजनयिक संबंध स्थापित करने का भी आदेश दिया है।

यूक्रेन को दी खुली चुनौती

इससे पहले सोमवार को, रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने साफ तौर पर कहा कि कीव पूर्वी यूक्रेन में मास्को समर्थक विद्रोहियों के खिलाफ अपने सभी सैन्य अभियानों को रोक दे, या अधिक रक्तपात का सामना करे।

क्या है Russia-Ukraine conflict ?

रूस और यूक्रेन के बीच पिछले काफी समय से विवाद चल रहा है। शीत युद्ध के बाद से यूक्रेन के आसपास सैनिकों की टुकड़ी को यूरोप में सबसे खराब सुरक्षा जोखिम के रूप में देखा जा रहा है। तनाव का मुख्य कारण यूक्रेन का अमेरिकी नेतृत्व वाले सैन्य संगठन नाटो से करीबी संबंध है। यूक्रेन की कोशिश है कि उसे नाटो में शामिल कर लिया जाए। वहीं, रूस को यह मंजूर नहीं कि यूक्रेन नाटो का सदस्य बन जाए और इस संगठन की सेनाएं उसकी सीमा के करीब पहुंच जाए। रूस इसे अपने लिए खतरे के रूप में देखता है। 

यूक्रेन को नाटो का सदस्य बनने से रोकने के लिए रूस ने यूक्रेन की सीमा के पास एक लाख से अधिक सैनिकों को तैनात किया है। इसके साथ ही उसने बेलारूस और ब्लैक सी में भी सैनिकों का जमावड़ा बढ़ा दिया है। रूस ने अमेरिका से इस बात की गारंटी की मांग की थी कि यूक्रेन को नाटो का सदस्य नहीं बनाया जाएगा। अमेरिका ने ऐसी कोई गारंटी देने से इनकार कर दिया था।

यह भी पढ़ें

रूस ने दी पूर्वी यूक्रेन अलगाववादी गणराज्यों Donetsk और Lugansk को दो स्वतंत्र देशों के रूप में मान्यता

इस्तेमाल गद्दे-कारपेट के नाम पर Britain से आयात हो रहा था Biowaste और मानव शरीर के अंग, ऐसे हुआ खुलासा

PREV

अंतरराष्ट्रीय राजनीति, ग्लोबल इकोनॉमी, सुरक्षा मुद्दों, टेक प्रगति और विश्व घटनाओं की गहराई से कवरेज पढ़ें। वैश्विक संबंधों, अंतरराष्ट्रीय बाजार और बड़ी अंतरराष्ट्रीय बैठकों की ताज़ा रिपोर्ट्स के लिए World News in Hindi सेक्शन देखें — दुनिया की हर बड़ी खबर, सबसे पहले और सही तरीके से, सिर्फ Asianet News Hindi पर।

Recommended Stories

जेल में बंद Imran Khan क्यों बने Pakistan की टेंशन का कारण?
न्यूयॉर्क फायर ट्रेजेडी: भारतीय छात्रा की नींद में मौत, पड़ोसी बिल्डिंग से कैसे कमरे तक पहुंची आग?