आयकर अधिनियन की धारा 80GG के तहत अपने माता-पिता को किराएदार दिखाकर HRA पर टैक्स डिडक्शन पा सकते हैं। आप बता सकते हैं कि आप अपने पैरेंट्स को रेंट देते हैं।
ज्यादातर टैक्स सेविंग स्कीम में सीनियर सिटीजन को एक्स्ट्रा बेनिफिट्स मिलते हैं। सीनियर सिटीजन को एक साल में 50,000 रुपए तक के ब्याज में किसी तरह का कोई टैक्स नहीं देना पड़ता है।
माता-पिता के हेल्थ इंश्योरेंस के प्रीमियम पर टैक्स छूट मिलती है। 65 साल से कम उम्र के पैरेंटस हैं तो 25,000 रुपए तक प्रीमियम पर टैक्स छूट, 65 साल से ज्यादा उम्र पर 50,000 तक तक छूट
पति-पत्नी जॉइंट होम लोन लेकर दोनों के नाम रजिस्ट्री करवाएं। इससे दोनों होम लोन पर टैक्स बेनिफिट्स क्लेम कर दोगुना फायदा पा सकते है। यह होम लोन की कुल रकम पर निर्भर करता है।
शेयर मार्केट में लॉन्ग टर्म के लिए निवेश कर कैपिटल गेन पर 1 लाख रुपए तक टैक्स छूट मिलती है। पत्नी हाउस वाइफ है तो उनके नाम निवेश कर रिटर्न पर 1-1 लाख रुपए की छूट पा सकते हैं।
कई लड़कियां शादी बाद भी पढ़ाई करती हैं। अगर आपकी वाइफ भी पढ़ती हैं तो उनके नाम एजुकेशन लोन ले सकते हैं। जिसके ब्याज पर 80E के तहत 8 सालों तक टैक्स छूट पा सकते हैं।
बीवी का हेल्थ इंश्योरेंस अलग से करवाकर सेक्शन 80D के तहत खुद के लिए, पत्नी और बच्चों के लिए लिए गए हेल्थ इंश्योरेंस के प्रीमियम पर 25,000 रुपए तक टैक्स छूट पा सकते हैं।
अगर बच्चे पढ़ाई कर रहे हैं तो उनकी स्कूल-कॉलेज की फीस पर सेक्शन 80C के तहत 1.5 लाख रुपए तक डिडक्शन क्लेम कर सकते हैं। इसका फायदा दो बच्चों की ट्यूशन फीस पर ही मिलता है।
बच्चों के नाम एजुकेशन लोन ले रहे हैं तो सेक्शन 80E के तहत टैक्स डिडक्शन क्लेम कर सकते हैं। इसकी जानकारी अपने आईटीआर फॉर्म में जरूर दें।
बच्चों के लिए हेल्थ इंश्योरेंस लेकर सेक्शन D के तहत 25,000 रुपए तक के प्रीमियम पर टैक्स छूट का लाभ उठा सकते हैं।
बच्चों के नाम पर पीपीएफ, सुकन्या समृद्धि खाता, म्यूचु्अल फंड्स खाता या फिर ट्रेडिशनल इंश्योरेंस पॉलिसी में निवेश कर सेक्सन 80C के तहत डिडक्शन का फायदा उठा सकते हैं।