Tata ग्रुप की कंपनी टाटा मोटर्स के शेयर ने पिछले 8 महीनों में निफ्टी इंडेक्स में सबसे खराब प्रदर्शन किया है।
जुलाई, 2024 के बाद से अब तक Tata Motors के शेयर में करीब 44% तक की गिरावट आ चुकी है।
जुलाई 2024 में Tata Motors का शेयर 1179 रुपये के लेवल पर था। वहीं, 25 फरवरी को ये 1% की गिरावट के बाद 661.60 रुपए पर बंद हुआ।
पिछले 8 महीने के दौरान टाटा मोटर्स के शेयर में आई भारी गिरावट के चलते कंपनी का मार्केट कैप 1.9 लाख करोड़ रुपए तक कम हो गया है। फिलहाल ये 2, 43,547 करोड़ रुपए रह गया है।
ब्रोकर्स का मानना है कि टाटा मोटर्स अभी कंसोलिडेशन मोड में है और 2025 तक शेयर में सुस्ती बनी रह सकती है। टेस्ला की भारत में एंट्री जैसी खबरों ने भी कंपनी की चिंता बढ़ा दी है।
इसके अलावा टाटा मोटर्स की ब्रिटेन स्थित सबसिडरी कंपनी जगुआर लैंडरोवर चीन, यूके और यूरोपियन यूनियन जैसे प्रमुख बाजारों में कमजोर डिमांड का भी सामना कर रही है।
एक्सपर्ट्स का कहना है कि Tata Motors की खराब परफॉर्मेंस कहीं न कहीं लंबी अवधि के निवेशकों के लिए एक मौके की तरह है। मतलब लॉन्गटर्म के लिए इस स्टॉक में निवेश फायदेमंद साबित होगा।
CLSA ने टाटा मोटर्स के लिए 930, जबकि BNP Paribas ने 935 रुपये का टारगेट दिया है। घरेलू डिमांड बढ़ने और JLR की परफॉर्में के आधार पर आने वाली तिमाहियों में अच्छा प्रदर्शन कर सकता है।
शेयर बाजार में निवेश तमाम जोखिमों के अधीन है। किसी भी स्टॉक में निवेश से पहले किसी अच्छे एक्सपर्ट की राय जरूर लें।