वैभव सूर्यवंशी सिर्फ मैदान में ही नहीं, बल्कि अपनी पढ़ाई को लेकर भी चर्चा में रहते हैं। 14 साल की उम्र में IPL और SMAT में इतिहास रचने वाले वैभव फिलहाल स्कूल में पढ़ रहे हैं।
वैभव अभी कक्षा 9वीं के छात्र हैं। लेकिन उसके क्रिकेट शेड्यूल के कारण पढ़ाई का सफर काफी उतार-चढ़ाव वाला रहता है।
वैभव की शुरुआती पढ़ाई उनके गांव ताजपुर, समस्तीपुर से शुरू हुई। जैसे-जैसे क्रिकेट में सुधार होता गया, वैसे-वैसे उन्हें पढ़ाई और प्रैक्टिस के बीच बैलेंस बनाना पड़ा।
वैभव बिहार के डॉ मुक्तेश्वर सिन्हा मॉडेस्टी स्कूल में पढ़ते हैं। स्कूल वेबसाइट के अनुसार सालाना फीस 5300 रु है। जिसमें 2100 रु ट्यूशन, 800 रु एग्जाम और 2400 रु एक्टिविटी फीस हैं।
सिर्फ 4 साल की उम्र में उनके पिता ने उन्हें बल्ला थमा दिया था, लेकिन इसके बावजूद वैभव की बेसिक स्कूलिंग रेगुलर तरीके से चलती रही। सुबह स्कूल और शाम को क्रिकेट, दोनों चलते रहे।
क्रिकेट में लगातार टूर्नामेंट और यात्रा के कारण वैभव की पढ़ाई में थोड़ा असर जरूर पड़ा। कोच मानते हैं कि वैभव बहुत मेहनती हैं, लेकिन क्रिकेट की वजह से स्टडी टाइम थोड़ा कम हो गया है।
वैभव के अनुसार, जो भी करो, दिल लगाकर करो। इसलिए वे स्कूल के मार्क्स का उतना दबाव नहीं लेते उनका फोकस स्किल, फिटनेस और माइंडसेट पर रहता है।
पढ़ाई ने भी वैभव सूर्यवंशी की क्रिकेट को मजबूत किया है। मैच सिचुएशन पढ़ना, दिमाग शांत रखना और रणनीति बनाना, ये सब उन्होंने स्कूल की बेसिक एजुकेशन से ही सीखा।
वैभव सूर्यवंशी का प्लान पढ़ाई जारी रखने का है। वह क्रिकेट के साथ अपनी एजुकेशन को भी आगे बढ़ाना चाहते हैं। वैभव की जर्नी बताती है, अगर जुनून हो तो पढ़ाई-खेल दोनों साथ चल सकते हैं।