अमेरिका का सिटीबैंक (Citibank) भरत में अपने कन्ज्यूमर बैकिंग कारोबार को बंद करने जा रहा है। बहुराष्ट्रीय बैंकिंग और फाइनेंशियल सर्विस देने वाले सिटीग्रुप (Citi Group) ने गुरुवार को यह जानकारी दी।
बिजनेस डेस्क। अमेरिका का सिटीबैंक (Citibank) भरत में अपने कन्ज्यूमर बैकिंग कारोबार को बंद करने जा रहा है। बहुराष्ट्रीय बैंकिंग और फाइनेंशियल सर्विस देने वाले सिटीग्रुप (Citi Group) ने गुरुवार को यह जानकारी दी। सिटी ग्रुप भारत के अलावा चीन और 13 दूसरे देशों में भी अपना कारोबार बंद करेगा। बैंक का कहना है कि यह उसकी ग्लोबल स्ट्रैटजी का हिस्सा है। बता दें कि सिटी बैंक ने 1902 में भारत में अपने कारोबार की शुरुआत की थी। साल 1985 में इसने कन्ज्यूमर बैकिंग के क्षेत्र में कदम रखा।
इन देशों में रिटेल बैंकिंग से बाहर होगा
सिटीबैंक (Citibank) अपनी नई बिजनेस स्ट्रैटजी के तहत भारत के अलावा ऑस्ट्रेलिया, इंडोनेशिया, बहरीन, चीन, साउथ कोरिया, मलेशिया, फिलीपींस, पोलैंड, रूस, ताइवान, थाईलैंड और वियतनाम में रिटेल बैंकिंग बिजनेस से बाहर हो जाएगा। वहीं, उसका होलसेल बिजनेस जारी रहेगा। जानकारी के मुताबिक सिटीबैंक भरत में अपने रिटेल और कन्ज्यूमर बिजनेस को बेचने के लिए खरीददार की तलाश भी कर रहा है।
कन्ज्यूमर बैंकिंग में 4000 हैं कर्मचारी
भारत में सिटीबैंक के कन्ज्यूमर बैंकिंग में सेगमेंट में करीब 4000 कर्मचारी हैं। कन्ज्यूमर बैंकिंग बिजनेस में बैंक क्रेडिट कार्ड, रिटेल बैंकिंग, होम लोन और वेल्थ मैनेजमेंट के क्षेत्र में काम कर रहा था। इस बैंक की देशभर में 35 ब्रांच हैं। सिटी ग्रुप की प्रमुख सीईओ जेन फ्रेजर (Jane Fraser) ने कहा है कि कन्ज्यूमर बैंकिंग से बाहर निकलने की वजह इस क्षेत्र में प्रतिस्पर्धा का मानक नहीं होना है। बता दें कि जेन फ्रेजर इस ग्रुप की पहली महिला सीईओ हैं।
कर्मचारियों पर नहीं होगा कोई असर
जानकारी के मुताबिक, जब तक रिटेल और कन्ज्यूमर बिजनेस को बेच नहीं दिया जाता, सिटीबैंक के कर्मचारियों और कस्टमर्स पर बैंक के इस फैसले का कोई असर नहीं पड़ेगा। बैंक के रिटेल बिजनेस को बेचने के लिए रेग्युलेटर्स की अनुमति जरूरी होगी।
होलसेल बिजनेस पर फोकस करेगा बैंक
सिटीबैंक के अधिकारियों का कहना है कि अब होलसेल बिजनेस पर फोकस किया जाएगा और इसमें निवेश बढ़ाया जाएगा। बता दें कि भारत में सिटीबैंक के करीब 29 लाख रिटेल कस्टमर्स हैं। इसके खाताधारकों की संख्या 12 लाख और 22 लाख क्रेडिट कार्ड अकाउंटहोल्डर्स हैं।