तिमारपुर विधानसभा सीट (Timarpur assembly constituency) नॉर्थ ईस्ट दिल्ली लोकसभा क्षेत्र में शामिल है। 1993 से 2015 तक इस दिल्ली की इस विधानसभा सीट पर छह बार चुनाव हुए हैं। तीनों बड़ी पार्टियां यानी आप, कांग्रेस और कांग्रेस ने यहां तीन-दो- एक बार जीत हासिल की है। इस बार आप के दिलीप पांडे ने जीत दर्ज की। जबकि बीजेपी के सुरेंद्र सिंह दूसरे नंबर पर रहे।
नई दिल्ली। तिमारपुर विधानसभा सीट (Timarpur assembly constituency) नॉर्थ ईस्ट दिल्ली लोकसभा क्षेत्र में शामिल है। 1993 से 2015 तक इस दिल्ली की इस विधानसभा सीट पर छह बार चुनाव हुए हैं। तीनों बड़ी पार्टियां यानी आप, कांग्रेस और कांग्रेस ने यहां तीन-दो- एक बार जीत हासिल की है। इस बार आप के दिलीप पांडे ने जीत दर्ज की। जबकि बीजेपी के सुरेंद्र सिंह दूसरे नंबर पर रहे।
2013 से आम आदमी पार्टी लगातार ये सीट जीत रही है। मगर हर चुनाव में उम्मीदवार बदलती आई है। 2013 में आप से हरीश खन्ना जीते थे। 2015 में पंकज पुष्कर को जीत मिली थी। अब 2020 में भी उम्मीदवार बदल दिया गया और इस बार दिलीप पांडे ने जीत दर्ज की।
तीन बार कांग्रेस ने जीती सीट पर दो बार से तीसरे नंबर पर
1993 के चुनाव में बीजेपी ने पहली बार ये सीट जीती थी। इसके बाद 1998 से 2008 तक ये सीट कांग्रेस के कब्जे में रही। कांग्रेस के जगदीश आनंद 1998 में जीते थे। 2003 और 2008 में कांग्रेस के टिकट पर यहां से सुरेंदर पाल सिंह विधायक रहें। बताते चलें कि पिछले दो चुनाव से कांग्रेस यहां तीसरे नंबर पर चली गई है।
तिमारपुर उत्तर-पूर्वी दिल्ली में स्थित एक आवासीय क्षेत्र है। यह क्षेत्र अब काफी विकसित हो गया है। यहां इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूक्लियर मेडिसिन अलाइड साइंसेस स्थित है। यहां थॉइरायड टेस्टिंग लैब के साथ ही कैंसर की जांच की सुविधा भी उपलब्ध है। तिमारपुर का शिव मंदिर काफी प्रसिद्ध है। साथ ही, यहां देव बाबा पिशोरिया समाधि मंदिर भी है।