गुलशन ग्रोवर इंडिया के वो एक्टर हैं, जो 70 की उम्र में भी जवानों को मात देते हैं। 21 सितम्बर 1955 को नई दिल्ली में पैदा हुए गुलशन ग्रोवर 40 साल से फिल्मों में एक्टिव हैं। लेकिन एक्टर बनना उनके लिए आसान नहीं था। पढ़ें जिंदगी और संघर्ष के बारे में.…
फजले गुफरान की किताब 'मैं हूं खलनायक : बॉलीवुड के खलनायकों का सफ़र' के मुताबिक़, गुलशन ग्रोवर ने अपनी स्कूलिंग दिल्ली के सरकारी स्कूल से की। फिर श्रीराम कॉलेज ऑफ़ कॉमर्स से उनका ग्रैजुएशन और पोस्ट ग्रैजुएशन पूरा हुआ। गुलशन ग्रोवर के पिता का नाम करण सिंह ग्रोवर और मां का नाम रामसखी ग्रोवर था।
गुलशन ग्रोवर बचपन से ही शोहरत की बुलंदियों को छूना चाहते थे और इसी के लिए उन्होंने एक्टिंग का पेशा चुना। उन्होंने एक्टिंग की शुरुआत थिएटर और स्टेज शो से की थी। 1980 के दशक में वे मुंबई आ गए और फिर उनका असली संघर्ष शुरू हुआ। कहा जाता है कि वे फिल्मों में काम मांगने जाते, निर्माताओं से आश्वासन पाते, लेकिन काम नहीं पा पाते।
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एक्टिंग सीखी, सिखाई, लेकिन काम को तरसते रहे
जब मुंबई में काम नहीं मिला तो गुलशन ग्रोवर ने एक एक्टिंग स्कूल जॉइन कर लिया और अभिनय की बारीकियां सीखीं। फिर भी वे काम को तरसते रहे। ऐसे में उन्होंने एक्टिंग सिखाने का फैसला लिया। बताया जाता है कि गुलशन उसी स्कूल में एक्टिंग कोच बन गए, जहां से उन्होंने ट्रेनिंग ली थी। संजय दत्त और अनिल कपूर जैसे कलाकारों को उन्होंने ट्रेंड किया। इसी दौरान संजू से उनकी अच्छी दोस्ती हो गई और इसी दोस्ती को देखते हुए सुनील दत्त ने अपने बेटे संजय दत्त की डेब्यू फिल्म 'रॉकी'(1981) में गुलशन ग्रोवर को छोटा सा, लेकिन महत्वपूर्ण रोल दिया। इससे पहले वे 'हम पांच'(1980) से बॉलीवुड डेब्यू कर चुके थे।
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...और फिर बैडमैन बन गए गुलशन ग्रोवर
गुलशन ग्रोवर को 1983 में 'सदमा' और 'अवतार' से पहचान मिलनी शुरू हुई। लेकिन असली पहचान 1989 में रिलीज हुई 'राम लखन' से मिली, जिसमें उन्होंने केसरिया विलायती का रोल निभाया था और उनका डायलॉग 'बैडमैन' लोगों के सिर चढ़कर बोला था। इस फिल्म के बाद लोग गुलशन को बैडमैन के नाम से ही जानने लगे। आज भी वे इसी नाम से ज्यादा मशहूर हैं।
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बॉलीवुड से हॉलीवुड तक का सफ़र
गुलशन ने बॉलीवुड में 'वीराना', 'खतरों के खिलाड़ी', 'राजा बाबू', 'दिलवाले', 'मोहरा' और 'हेरा फेरी' जैसी कई शानदार फिल्मों में किया। 1998 में उनकी पहली हॉलीवुड फिल्म 'द सेकंड जंगल बुक: मोगली एंड बल्लू' आई और वे इंटरनेशनल स्टार बन गए। गुलशन पहले ऐसे इंडियन एक्टर हैं, जिन्हें विदेशी कंपनी ने विज्ञापन ऑफर किया था। वॉशिंगटन की एक कंपनी ने उन्हें विज्ञापन की पेशकश की। बाद में वे 'अमेरिकन डेलाइट' और 'फॉरबिडन' जैसी अंग्रेजी फिल्मों में भी दिखाई दिए।
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गुलशन ग्रोवर की कितनी शादियां हुईं
गुलशन ग्रोवर की दो शादियां हुईं। उनकी पहली पत्नी का नाम कशिश ग्रोवर है, जिनके साथ उनका रिश्ता महज 10 महीने में ख़त्म हो गया था। गुलशन ग्रोवर की दूसरी शादी फिलोमिना से हुई। दोनों का एक बेटा है, जिसका नाम संजय ग्रोवर है।