बॉलीवुड में चलता है इन 12 खानदानों का दबदबा, कई दशकों से इंडस्ट्री पर राज करते आ रहे हैं ये लोग

मुंबई। सुशांत राजपूत की खुदकुशी के बाद से ही बॉलीवुड में नेपोटिज्म (भाई-भतीजावाद) का मुद्दा बेहद गरमाया हुआ है। अब तक रवीना टंडन, शेखर कपूर, कंगना रनोट, अभिनव कश्यप और साहिल खान जैसे सेलेब्स नेपोटिज्म को लेकर अपनी-अपनी बात रख चुके हैं। कुछ सेलेब्स ने तो नेपोटिज्म पर खुलकर सलमान खान का नाम लिया है। वैसे, इस बात से तो इनकार नहीं किया जा सकता कि बॉलीवुड में कुछ 'खानदानों' का दबदबा रहा है। इनमें कपूर खानदान से लेकर कई परिवार हैं। इस पैकेज में हम बता रहे हैं बॉलीवुड के कुछ ऐसे ही खानदानों के बारे में। 

Asianet News Hindi | Published : Jun 21, 2020 7:56 AM IST / Updated: Jun 25 2020, 12:18 PM IST

112
बॉलीवुड में चलता है इन 12 खानदानों का दबदबा, कई दशकों से इंडस्ट्री पर राज करते आ रहे हैं ये लोग

सलीम खान ने करियर की शुरुआत बतौर एक्टर 1960 में फिल्म 'बरात' से की थी। उन्होंने करीब 14 फिल्मों में बतौर एक्टर काम किया और इसके बाद स्क्रिप्ट राइटिंग करने लगे। 

212

कपूर खानदान की शुरुआत तो वैसे राजकपूर के पिता स्वर्गीय पृथ्वीराज कपूर से मानी जाती है। उन्हीं के नाम पर पृथ्वी थिएटर बना था। हालांकि बाद में उनके बेटों राज कपूर, शम्मी कपूर, शशि कपूर ने इसे आगे बढ़ाया। 

312

अनिल कपूर के पिता सुरिंदर कपूर ने बतौर प्रोड्यूसर 1972 में आई फिल्म शहजादा से करियर की शुरुआत की। इसके बाद उन्होंने कई फिल्मों को प्रोड्यूस और डायरेक्ट किया। 

412

आमिर खान के पिता ताहिर हुसैन ने बतौर प्रोड्यूसर 1971 में फिल्म कारवां से करियर शुरू किया था। इसके बाद उन्होंने कई फिल्में बनाईं। तीन फिल्मों में उन्होंने बतौर एक्टर काम किया है। 
 

512

धर्मेन्द्र को बॉलीवुड में 6 दशक हो चुके हैं। हालांकि अब वो फिल्मों से दूर हैं, लेकिन उनके बच्चे एक्टिव हैं। धर्मेन्द्र ने करियर की शुरुआत 1960 में आई फिल्म 'दिल भी तेरा हम भी तेरे' से की थी। 

612

काजोल की नानी शोभना ने करियर की शुरुआत 40 के दशक में की थी। उन्होंने बाद में डायरेक्टर कुमारसेन समर्थ से शादी कर ली। उनके बाद उनकी दोनों बेटियां नूतन और तनुजा भी फिल्मों में आ गईं। 

712

जितेन्द्र ने करियर की शुरुआत 60 के दशक में की थी। उनकी पहली फिल्म 'नवरंग' थी लेकिन बतौर एक्टर उन्हें पहचान 1964 में आई 'गीत गाया पत्थरों ने' से मिली। 

812

राजेश खन्ना के करियर की शुरुआत भी 60 के दशक में हुई थी। उनकी पहली फिल्म 'आखिरी खत' थी, जो 1966 में आई थी। हालांकि उन्हें पहचान 1969 में आई मूवी 'आराधना' से मिली थी। 

912

यश चोपड़ा और उनके भाई बीआर चोपड़ा ने कई यादगार फिल्मों का निर्माण किया। इनमें धूल के फूल, दाग, सिलसिला, चांदनी, लम्हे, डर, दिल तो पागल है, दिलवाले दुल्हनिया ले जाएंगे और वीर-जारा प्रमुख हैं। वहीं बीआर चोपड़ा ने मशहूर सीरियल महाभारत भी बनाया। 
 

1012

डेविड धवन ने बतौर डायरेक्टर करियर की शुरुआत 1989 में आई फिल्म 'ताकतवर' से की। उनकी आखिरी फिल्म 'कुली नंबर 1' है, जिसे उन्होंने बेटे वरुण धवन और सारा अली खान के साथ बनाया है। 

1112

शर्मिला टैगोर ने भी करियर की शुरुआत 60 के दशक में बंगाली फिल्मों से की थी। उनकी पहली हिंदी फिल्म 1964 में आई 'कश्मीर की कली' थी। 

1212

फिल्म इंडस्ट्री में रोशन खानदान की शुरुआत राकेश रोशन के पिता रोशन लाल नागरथ से मानी जाती है। वो म्यूजिक कम्पोजर थे। उन्होंने 50 के दशक में करियर की शुरुआत की थी। उन्होंने बावरे नैन, मल्हार, अनहोनी, चांदनी चौक, बरसात की रात, दिल ही तो है, चित्रलेखा और बहू बेगम जैसी फिल्मों में म्यूजिक दिया है। 

Share this Photo Gallery
click me!
Recommended Photos