नहीं जानते होंगे राहत इंदौरी की पढ़ाई-लिखाई, कैसे मामूली चित्रकार से मशहूर शायर बन विदेशों तक बढ़ाई देश की शान

करियर डेस्क.  Rahat Indori Education: युवाओं के दिलों पर राज करने वाले और आधुनिक समय के सबसे मशहूर शायर राहत इंदौरी का निधन हो गया है। वह कोरोना वायरस से संक्रमित हुए थे। हालांकि वो अस्पताल से लौट आने का दम भरकर गए थे लेकिन हार्ट अटैक ने उनकी जान ले ली। इंदौरी के निधन के बाद  पूरे उनको पसंद करने वालों में शोक की लहर है। लोग उनकी नज्में और मशहूर शेर गुनगना कर उन्हें याद कर रहे हैं। श्रद्धांजली दे रहे हैं। न सिर्फ भारत बल्कि विदेशों में भी धमक जमाने वाले राहत इंदौरी कोई मामूली शख्स नहीं थे। वो सिर्फ शायर ही नहीं बल्कि एक काबिल चित्रकार, टीचर भी रहे हैं। 

आइए जानते हैं उनकी शिक्षा और प्रोफेशन से जुड़ी कुछ अनुसुनी बातें- 
 

Asianet News Hindi | Published : Aug 12, 2020 3:37 AM IST / Updated: Aug 12 2020, 11:17 AM IST
110
नहीं जानते होंगे राहत इंदौरी की पढ़ाई-लिखाई, कैसे मामूली चित्रकार से मशहूर शायर बन विदेशों तक बढ़ाई देश की शान

राहत इंदौरी को देश के बहुत ही आलिम शायर में से एक माना जाता रहा है। उनकी शायरी की गूंज न सिर्फ देश में बल्कि विदेशों में भी रही। स्टेज पर शायरी पढ़ने का उनका अंदाज और खिलखिलाती मुस्कुराहट हमेशा पसंद की गई। उनकी शख्सियत ऐसी थी कि जिससे मिलते उसे अपना दीवाना बना लेते थे। 

210

अपने माता-पिता की वो चौथी संतान थे। उनकी स्कूलिंग इंदौर के नूतन स्कूल से हुई इसके बाद उन्होंने वहीं से हायर सेकेंडरी को भी पूरा किया था। 

 

310

इसके बाद उन्होंने 1973 में इंदौर के ही इस्लामिया करीमिया कॉलेज से ग्रेजुएशन कम्प्लीट किया था। बाद में उन्होंने 1975 में भोपाल के बरकतउल्लाह यूनिर्सिटी से उर्दू साहित्य में एमए पास किया।

410

साल 1985 में उन्होंने मध्य प्रदेश के भोज यूनिवर्सिटी से पीएचडी की डिग्री ली। रिसर्च में उनका टॉपिक था उर्दू में मुशायरा। 

510

पढ़ाई पूरी करने के बाद राहत इंदौरी इंदौर के ही इंद्रकुमार कॉलेज में उर्दू साहित्य पढ़ाने लगे। छात्रों के वे पसंदीदा टीचर थे। लेकिन इसी दौरान उनकी शायरियों को काफी पसंद किया जाने लगा और न सिर्फ देश के कोने कोन से बल्कि विदेशों से भी उनके लिए बुलावा आने लगा। 

610

जल्दी ही उन्होंने लोगों के दिलों में जगह बना ली और तीन चार सालों में ही वे नामी शायर के रूप में पहचाने जाने लगे। शायर इंदौरी बॉलीवुड फिल्मों के लिए गाने भी लिखा करते थे। राहत इंदौरी ने मीनाक्षी फिल्म में ये रिश्ता सॉन्ग लिखा था और फिल्म करीब में उन्होंने चोरी चोरी जब नजरें मिली सॉन्ग लिखा था जो कि बहुत पॉपुलर हुआ था। फिल्म हमेशा में राहत इंदौरी ने ऐ दिल हमें इतना बता सॉन्ग लिखा था जिसे उदित नारायण ने आवाज दी थी। फिल्म मर्डर में राहत ने दिल को हजार बार रोका रोका रोका गाना लिखा था जो कि काफी सुना गया।

710

इसी तरह फिल्म इश्क, तमन्ना, जुर्म और मुन्ना भाई एमबीबीएस जैसी फिल्मों के लिए राहत साहब ने छन्न छन्न, तुमसा कोई प्यारा, मेरी चाहतों का समंदर तो देखो, नींद चुराई मेरी किसने ओ सनम जैसे गाने लिखे थे जो कि काफी पॉपुलर हुए। हालांकि आमतौर पर फिल्म के गानों का क्रेडिट सिंगर या उस फिल्म में काम करने वाले एक्टर ले जाते हैं इसलिए बहुत से लोगों को इस बात की जानकारी नहीं है कि बॉलीवुड गानों के लिरिक्स लिखने में भी राहत धुरंधर रहे थे। 

810

राहत इंदौरी का जन्म 1 जनवरी 1950 को इंदौर में हुआ था। उनके पिता एक कपड़ा मिल में कर्मचारी थे। बचपन में आर्थिक स्थिति अच्छी न होने के कारण उन्हें काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ा। पैसों की कमी को पूरा करने के लिए उन्होंने अपने ही शहर में साइन-चित्रकार के रूप में काम करना शुरू कर दिया उस वक्त उनकी उम्र महज़ 10 साल थी। 

910

चित्रकारी उन्हें काफी पसंद थी और बहुत जल्द ही उनका काफी नाम भी हो गया। यह भी एक दौर था कि ग्राहकों को राहत द्वारा चित्रित बोर्डों को पाने के लिए महीनों का इंतजार करना भी मंज़ूर था। लेकिन राहत इंदौरी के अलविदा कहने के साथ ही उर्दू अदब ने एक आलिम शायर को खो दिया है।

1010

ये राहत इंदौरी साहब के आखिरी लफ्ज़ थे जब वो वापस लौटने का वादा करके गए थे और उन्होंने अपने लिए चाहने वालों से दुआएं मांगी थीं।  

Share this Photo Gallery
click me!

Latest Videos