एआर रहमान कभी इलेक्ट्रॉनिक इंजीनियर बनना चाहते थे। लेकिन उनकी यह इच्छा पूरी नहीं हो पाई। इसके बावजूद आज उन्हें ही नहीं, बल्कि शायद ही किसी को अफसोस होगा कि उनका यह ख्वाब साकार नहीं हो सका। अगर हो जाता तो वे 'मद्रास के मोजार्ट' नहीं कहलाते, जैसा कि कभी टाइम मैगजीन ने उन्हें संबोधित किया था। बता दें कि मोजार्ट क्लासिक युग के ख्यात संगीतकार थे।