पत्थर से निकाला सोना
हरियाणा के फतेहाबाद के किसान राहुल दहिया एक मिसाल है। जिस जमीन पर घास का तिनका तक नहीं उगता था, उस पर आज ये सेब, बादाम सहित 40 तरह के फल उगाकर खूब मुनाफ कमा रहे हैं। यही नहीं, इनके 14 एकड़ में फैले इस बाग ने 20 लोगों को रोजगार भी दिया हुआ है। दहमान गांव के रहने वाले राहुल ग्रेजुएट हैं। ये 16 साल पहले टेंट का कारोबार करते थे। लेकिन धंधा फ्लॉप हो गया। इनके पास 14 एकड़ जमीन है। लेकिन तब यह रेतीली और बेकार थी। इन्होंने इस पर बागवानी करने की ठानी। आज यह रेतीली जमीन सालाना करोड़ों रुपए का टर्न ओवर दे रही है। इस बाग के फलों की पंजाब और हरियाणा तक में डिमांड है। राहुल बताते हैं कि जमीन पर पानी का कोई इंतजाम नहीं था। शुरुआत में वे फेल हो गए। लेकिन हिम्मत नहीं हारी। सबसे पहले उन्होंने अमरूद का बाग लगाया। जब इससे कमाई होने लगी, तब सेब, नासपाती,बादाम, अंगूर आदि के पौधे लगाए। राहुल बताते हैं कि शुरू में बागवानी के लिए पौधे नहीं मिलने पर करीब 8 साल तक नुकसान उठाया। फिर इन्होंने खुद ही नर्सरी तैयार कर ली। ये श्री बालाजी नर्सरी एवं फ्रूट फार्म के नाम से अपना कारोबार करते हैं। इसे राष्ट्रीय बागवानी बोर्ड से मान्यता मिली हुई है। राहुल के बाग में 20 लोग स्थायी रोजगार पाए हुए हैं। वहीं 100 से ज्यादा लोग फल तोड़ने और उन्हें मंडियों तक ले जाने में जुड़े हुए हैं। आगे पढ़िए..लॉकडाउन में नौकरी गंवाकर लोग घर पर बैठ गए, इस कपल ने खड़ा कर दिया करोड़ों का बिजनेस