पर्सनल लाइफ के अलावा प्रोफेशनल लाइफ में भी उन्होंने कई उतार-चढ़ाव देखें हैं। साल 2000 में मोहम्मद अजहरुद्दीन पर मैच फिक्सिंग का आरोप लगा था, जिसे सही माना गया और उनपर जिंदगी भर क्रिकेट से बैन कर दिया गया। हालांकि, 12 साल के बाद साल 2012 में आंध्र प्रदेश हाई कोर्ट ने उन पर लगे आजीवन प्रतिबंध को खारिज कर दिया था।