CAA के विरोध में खून खच्चर पर उतारू थे लोग, इन IPS अफसरों की वजह से खाकी में बढ़ा भरोसा

नई दिल्ली. संशोधित नागरिकता कानून का देश के राज्यों में जमकर विरोध प्रदर्शन हुआ। पंश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश, असम, और दिल्ली में विरोध प्रदर्शन ने हिंसक रूप ले लिया था। इसके मद्देनजर देश की सुरक्षा में हमेशा तत्पर रहने वाली पुलिस ने मोर्चा संभाला और प्रदर्शनकारियों पर नियंत्रण बनाने के लिए एड़ी-चोटी का जोर लगा दिया। इसके लिए बड़े-बड़े आईपीएस अफसरों ने आक्रामक आंदोलनकारियों को राष्ट्रगान गाकर तो कभी लाउडस्पीकर पर प्रेरणात्मक भाषण देकर उन्हें शांत करने की कोशिश की। इन अफसरों को वीडियोज और फोटोज जमकर वायरल हुए और देशवासियों का खाकी में भरोसा मजबूत हो गया। आइए आपको अलग-अलग राज्यों में इन आईपीएस अफसरों के बारे में बताते हैं......

Asianet News Hindi | Published : Dec 24, 2019 11:07 AM IST / Updated: Dec 25 2019, 12:18 AM IST

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CAA के विरोध में खून खच्चर पर उतारू थे लोग, इन IPS अफसरों की वजह से खाकी में बढ़ा भरोसा
15 दिसंबर को जामिया यूनिवर्सिटी में हुए प्रदर्शन के दौरान पुलिस के रवैये से लोग नाराज थे वहीं, इन सब के बीच कुछ पुलिसवालों के कुछ ऐसे वीडियो वायरल हुए, जिसने दिल जीत लिया।
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मुंबई में IPS मनोज शर्मा नजर प्रोटेस्ट कर रहे लोगों से शांत रहने की अपील करते दिखे। वो कह रहे थे कि, पुलिस प्रोटेस्ट कर रहे लोगों का सहयोग कर रही है। वो अपनी बात रखें, पर शांतिपूर्ण तरीके से। उनकी बातों को सरकार तक पहुंचाना उनका यानी पुलिस की जिम्मेदारी है। मनोज कुमार ने कहा कि पुलिस का कोई धर्म नहीं है, वो न तो मुस्लिम है और न ही हिंदू सिर्फ आपकी सेवा में हैं।
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15 दिसंबर को जामिया यूनिवर्सिटी में हुए प्रदर्शन के दौरान पुलिस के रवैये से लोग नाराज थे वहीं, इन सब के बीच कुछ पुलिसवालों के कुछ ऐसे वीडियो वायरल हुए, जिसने दिल जीत लिया। पहला वीडियो मुंबई का है। इसमें IPS मनोज शर्मा नजर प्रोटेस्ट कर रहे लोगों से शांत रहने की अपील करते दिखे। वो कह रहे थे कि, पुलिस प्रोटेस्ट कर रहे लोगों का सहयोग कर रही है। वो अपनी बात रखें, पर शांतिपूर्ण तरीके से। उनकी बातों को सरकार तक पहुंचाना उनका यानी पुलिस की जिम्मेदारी है। मनोज कुमार ने कहा कि पुलिस का कोई धर्म नहीं है, वो न तो मुस्लिम है और न ही हिंदू सिर्फ आपकी सेवा में हैं।
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बेंगलुरु में टाउनहॉल के बाहर प्रदर्शनकारी प्रोटेस्ट की इजाज़त नहीं थी फिर भी वो कर रहे थे जिसके बाद पुलिस लोगों को वहां से हटाने की कोशिश कर रही थी, लेकिन वे तैयार नहीं थे। तभी बेंगलुरु सेंट्रल के डीसीपी चेतन सिंह राठौर ने वहां मौजूद लोगों के साथ राष्ट्रगान गाना शुरू कर दिया। राष्ट्रगान के बाद लोगों ने वो जगह भी खाली कर दी। ये वीडियो जमकर वायरल हुआ।
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पांचवा वीडियो इटावा का है। यहां पर एसएसपी संतोष मिश्रा एक बच्चे को नागरिकता कानून के असर के बारे में बता रहे हैं। वो क्या समझा रहे थे कि किसी को देश से नहीं निकाला जाएगा सब यही रहेंगे तुम चिंता मत करो और खेलो-कूदो।
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उन्होंने सभी से हाथ मिलाया और पूछा क्या मुझसे डर लग रहा है?
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बेंगलुरु में एक महिला ‘मुसलमानों के हक’ के लिए छात्रों के एक दल का नेतृत्व कर रही थी, तभी इंस्पेक्टर तनवीर अहमद ने मोर्चा संभाला और प्रदर्शन कर रही महिला को डांटकर वहां से वापस भेज दिया। उन्होंने मेरा नाम तनवीर अहमद है। मैं इस पुलिस थाने का अधिकारी हूं, आप अपने विरोध प्रदर्शन के लिए छात्रों को उकसा रही हैं, ऐसा आप नहीं कर सकती हैं।
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पुलिस अधीक्षक श्रावस्ती के IPS अनूप सिंह के निर्देशानुसार चौकी प्रभारी राजपुर उ0नि0 किसलय मिश्रा द्वारा गांव में चौपल लगा कर मुस्लिम समुदाय के संभ्रांत/आमजन को CAA व NRC के सम्वन्ध में विस्तृत जानकारी दी गई। ताकि कोई दंगा-फसाद न हो।
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