जोशीमठ (Joshimath).उत्तराखंड के 8वीं सदी के शहर जोशीमठ में आई प्राकृतिक दरारों ने एक बड़ी चिंता खड़ी कर दी है। यहां दरारें धीरे-धीरे बढ़ती जा रही हैं। भू-धंसाव के कारण जोशीमठ में डैमेज भवनों की संख्या 723 तक पहुंच गई है। सुरक्षा के लिहाज से 131 परिवारों को अस्थाई रूप से विस्थापित किया गया है। जोशीमठ नगर क्षेत्रान्तर्गत अस्थाई रूप से 1425 क्षमता के 344 राहत शिविर के साथ ही जोशीमठ क्षेत्र से बाहर पीपलकोटी में 2205 क्षमता के 491 कक्षों/हॉलों को आइडेंटिफाई किया गया है। इस संकट के लिए लोग NTPC के प्रोजेक्ट को दोषी मान रहे हैं। लोगों की नाराजगी है कि जेसीबी से पहाड़ तोड़े जाने से यह संकट आया है। हालांकि NTPC इससे इनकार कर चुकी है।