एक मृतक की पत्नी ने रोते हुए कहा कि उसके पति यशस्वी कंपनी में हैल्पर थे। बुधवार दोपहर करीब 12 बजे जब उसने धमाके की आवाज सुनी, तो घर का काम छोड़कर फैक्ट्री भागी। इससे पहले उसने पति को मोबाइल पर कॉल भी किया। जब वो फैक्ट्री पहुंची, तो देखा...वहीं अफरा-तफरी का माहौल था। बड़ी मुश्किल में अंदर पहुंची। देखा..मलबे के बीच लाशें पड़ीं थी। घायल पड़े थे। लाशें पूरी तरह जल चुकी थीं। वो अपने कदकाठी से अपने पति को पहचान पाई। (पहली तस्वीर किसी अन्य घायल की है)