
Father’s Day 2025: "पितृ देवो भव" यानी पिता को भगवान मानो...वाकई एक पिता अपने बच्चे के लिए जो कुछ भी करता है वो एक भगवान के सामान ही होता है। उसकी खुशी का ख्याल रखना, गम में साथ खड़े रहना और कोई संकट आए तो खुद को सामने कर देना..यहीं तो पिता का काम होता अपने बच्चे के लिए।
अपने बेटे को आत्मनिर्भर बनाने तक उसके साथ खड़ा रहता है। कई बच्चों के लिए उसके पिता सुपरहीरो होते हैं। पिता के प्रेम और त्याग को सम्मान देने के लिए दुनियाभर में हर साल फादर्स डे मनाया जाता है। फादर्स डे हर साल जून के तीसरे रविवार को मनाया जाता है। इस बार 15 जून को पितृदिवस है।
फादर्स डे मनाने की शुरुआत एक बेटी ने की जो अपने पिता को बेहद प्यार करती थी। 1910 में, जब सोनोरा स्मार्ट डोड(sonora Smart Dodd) ने अपने पिता की सेवा और समर्पण को सम्मानित करने के लिए इस दिन को प्रस्तावित किया। बताया जाता है कि सोनोरा के पिता ने अकेले ही छह बच्चों की परवरिश की थी। तो उसने सोचा कि अगर मदर्स डे होता है तो फिर पिता के लिए भी एक दिन खास होना चाहिए। उसने फादर्स डे मना शुरू किया और धीरे-धीरे पूरी दुनिया में ये फैलने लगा।
1966 में अमेरिकी राष्ट्रपति लिंडन बी. जॉनसन ( Lyndon B. Johnson) ने इसे आधिकारिक रूप दिया। जबकि 1972 में राष्ट्रपति निक्सन (Nixon) ने इसे स्थायी रूप से राष्ट्रीय अवकाश का दर्जा दिया
यह दिन पितृत्व, पिताओं की मेहनत और बलिदान और बच्चों के साथ उनके खास रिश्ते को सम्मानित करने के लिए समर्पित है। बच्चे इस दिन पिता के प्रति प्रेम, आभार और सम्मान व्यक्त करते हैं ।
विश्व के लगभग 70 देशों में, जिसमें भारत, यूएस, यूके, कनाडा, ऑस्ट्रेलिया आदि शामिल हैं,वहां फादर्स डे तीसरे रविवार जून को मनाया जाता है। वहींकुछ देशों में यह दिन अलग तारीखों पर भी मनाया जाता है जैसे पोर्तुगल, इटली और स्पेन में 19 मार्च, दक्षिण कोरिया में 8 मई, आदि ।