मायानगरी मुंबई से एक दिल को झकझोर देने वाली खबर सामने आई है। जहां दिवाली के दिन एक 16 महीने की बच्ची को तेंदुआ उठाकर ले गया। कुछ देर बाद बच्ची की मौत हो गई। इस घटना से पूरे इलाके में दहशत का माहौल बना हुआ है।
मुंबई. दिवाली एक ऐसा त्योहार जिसमें सबसे ज्यादा खुशी बच्चों को होती है। क्योंकि उनको पटाखे फोड़ने मिलते हैं और मिठाइयों के अलावा नए-नए कपड़े तोहफे में मिले हैं। लेकिन मुंबई से जो खबर सामने आई है वह बेहद दर्दनाक है। जहां एक 16 माह की मासूम बच्ची की दिपावली के दिन मौत हो गई। क्योंकि बच्ची पर एक आदमखोर तेंदुए ने हमल कर दिया। इस दौरान मासूम की मां मंदिर गई थी, वह अपनी मां को खोजते-खोजते घर से निकल गई और तभी यह दुखद घटना घटित हो गई।
जैसे ही घर से निकली मासूम और तेंदुआ ले गया उठाकर
दरअसल, यह पूरा मामला मुंबई के आरे कॉलोनी का है। जहां दिवाली वाले दिन सोमवार सुबह करीब 6 से 7 बजे के बीच बच्ची की मां पास के मंदिर में पूजा करने के लिए गई हुई थी। लेकिन जब मासूम को घर पर मां नहीं दिखी तो वह रोते हुए बाहर निकली और मां को खोजती रही। इसी दौरान पहले से घात लगाए बैठे तेदुंए ने हमला कर दिया और बच्ची को उठाकर जंगल की तरफ ले गया।
बेटी की हालत देख कांप गया मां का कलेजा
बच्ची की रोने की आवाज जब मां तक पहुंची तो उन्हें लगा कि कुछ अनहोनि है। लेकिन पीछे पलट कर देखा तो तेदुंआ मुंह दबाकर बच्ची को ले जा रहा था। यह देखते ही महिला के होश उड़ गए। इसके बाद आसपास के लोगों की भीड़ जमा हो गई और बच्ची को खोजने के लिए जंगल की तरफ गए। काफी देर खोजने के बाद बच्ची खून से लथपथ हालत में झाड़ियों में पड़ी मिली। आनन फानन में मासूम को अस्पताल ले जाया गया। लेकिन कुछ देर बाद डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। इस घटना के बाद बच्ची के माता-पिता का रो-रोकर बुरा हाल है।
दिवाली के दिन थम गईं मासूम की सांसे
बता दें कि इस घटना के बाद इलाके में दहशत का माहौल है। दिवाली के जश्न के बाद भी यहां खौफ दिखाई दिया। यहां तक की बच्चे पटाखे फोड़ने के लिए घरों से बाहर नहीं निकले। वहीं मामले सूचना मिलते ही पुलिस और वन विभाग की टीम पहुंची। क्षेत्र में एक वन्यजीव एंबुलेंस, मुंबई वन विभाग से वन्यजीव संकट प्रतिक्रिया टीम और स्वयंसेवकों को तैनात किया है। जांच अधिकारी ने बचावकर्मी, तेंदुआ विशेषज्ञ, पशु चिकित्सक और वन विभाग के वरिष्ठ अधिकारी पूरे सप्ताह आरे कॉलोनी के वन क्षेत्र में लगातार तैनात रहेंगे। इससे पहले भी ऐसी घटनाएं यहां हो चुकी हैं। वहीं अधिकारियों ने बताया कि तेंदुए की गतिविधियों की पहचान और निगरानी के लिए 'कैमरा ट्रैप' लगाए जाएंगे।