अमेरिका ने माना- पाकिस्तानी जमीन से भारत को निशाना बना रहे आतंकी, मदरसों में पढ़ाया जा रहा हिंसक चरमपंथ का पाठ

अमेरिका (America) ने कहा कि आतंकी ग्रुप पाकिस्तान (Pakistan) से अपनी गतिविधियां चला रहे हैं। लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद (JEM) समेत अन्य आतंकवादी समूहों ने पाकिस्तानी सरजमीं से अपना काम जारी रखा है। ये पाकिस्तान में बैठकर भारत को निशाना बना रहे हैं। 

Asianet News Hindi | Published : Dec 17, 2021 11:13 AM IST / Updated: Dec 17 2021, 05:38 PM IST

वाशिंगटन। आतंकवाद पर जारी रिपोर्ट (Country Report 2020)में अमेरिका ने पाकिस्तान (Pakistan) को आड़े हाथों लिया है। अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने गुरुवार को जारी ‘कंट्री रिपोर्ट्स 2020' में साफ कहा कि भारत को निशाना बना रहे आतंकी  समूहों (Terrorist group)ने पाकिस्तानी सरजमीं से अपनी गतिविधियों को अंजाम देना जारी रखा है। पाकिस्तान ने जैश-ए-मोहम्मद संस्थापक और संयुक्त राष्ट्र द्वारा घोषित आतंकवादी मसूद अजहर और 2008 मुंबई हमले के ‘प्रोजेक्ट मैनेजर' साजिद मीर जैसे आतंकवादियों पर भी कार्रवाई नहीं की है। 

मदरसे नहीं कर रहे कानून का पालन
रिपोर्ट में कहा गया है कि पाकिस्तान के कुछ मदरसों में हिंसक चरमपंथी विचारधारा पढ़ाई जाती है। कई मदरसों का रजिस्ट्रेशन तक नहीं है। इसके अलावा तमाम ने तो वित्त पोषण के स्रोतों के दस्तावेज तक नहीं दिए हैं। ये विदेशी छात्रों के दाखिले के लिए बनाए गए कानूनों का पालन करने में नाकाम रहे हैं। 

ब्लिंकन ने कहा कि क्षेत्रीय रूप से आतंकी ग्रुप पाकिस्तान से अपनी गतिविधियां चला रहे हैं। अफगान, तालिबान और उससे जुड़े हक्कानी नेटवर्क समेत अफगानिस्तान को निशाना बना रहे समूहों के साथ ही लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद (JEM) समेत अन्य आतंकवादी समूहों ने पाकिस्तानी सरजमीं से अपना काम जारी रखा है। ये पाकिस्तान में बैठकर भारत को निशाना बना रहे हैं। इस रिपोर्ट में अमेरिका ने भारत की एनआईए और अन्य आतंकवाद रोधी एजेंसियों की तारीफ की है। 

पाक ने अजहर मसूद जैसे आतंकियों पर कार्रवाई नहीं की 
रिपोर्ट में कहा गया है कि पाकिस्तान ने JEM संस्थापक एवं संयुक्त राष्ट्र द्वारा घोषित आतंकवादी अजहर मसूह और 2008 मुंबई हमले के प्रोजेक्ट मैनेजर मीर जैसे अन्य वांटेड आतंकियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की। अजहर और मीर दोनों पाकिस्तान में आराम से घूम रहे हैं। रिपोर्ट में फरवरी और फिर नवंबर में लाहौर की एक आतंकवाद रोधी अदालत द्वारा लैश्कर-ए-तैयबा संस्थापक हाफिज सईद को आतंकवाद के वित्त पोषण के कई आरोपों में साढ़े पांच साल की सजा सुनाने का भी जिक्र है। 

श्रीलंका की तारीफ, ईस्टर अटैक के बाद अच्छा काम किया 
रिपोर्ट में श्रीलंका की तारीफ की गई है। इसमें कहा गया है कि 2019 के ईस्टर संडे आत्मघाती हमलों के मद्देनजर श्रीलंका ने आतंकवाद रोधी क्षमताओं को बढ़ाने और सीमा सुरक्षा में सुधार लाने के प्रयास जारी रखे हैं। श्रीलंकाई पुलिस इन हमलों की जांच में FBI के साथ सहयोग कर रही है। 100 से अधिक संदिग्ध हिरासत में हैं। गौरतलब है कि 21 अप्रैल 2019 को ईस्टर संडे पर स्थानीय इस्लामी चरमपंथी समूह नेशनल तौहीद जमात के नौ आत्मघाती हमलावरों ने श्रीलंका के तीन गिरजाघरों और कई लग्जरी होटलों पर सिलसिलेवार धमाके किए थे जिसमें 11 भारतीयों समेत 258 लोगों की मौत हो गयी थी और 500 से अधिक घायल हो गए थे। 

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