#AssamMizoramBorder: जैसे ही जंगलों से उपद्रवियों ने किया हमला, सुरक्षाबलों के पीछे डरकर छुप गईं बूढ़ी अम्मा

असम और मिजोरम की सीमा पर सोमवार को हुए खूनी संघर्ष पर अभी विराम नहीं लगा है। दोनों राज्यों के लोग छुप-छुपकर एक-दूसरे पर हमला कर रहे हैं। लोगों की जान बचाने सुरक्षाबल मोर्चा संभाले हुए हैं।
 

Asianet News Hindi | Published : Jul 27, 2021 6:19 AM IST / Updated: Jul 27 2021, 01:40 PM IST

नई दिल्ली. असम और मिजोरम के बीच सीमा विवाद को लेकर संघर्ष अभी पूरी तरह थमा नहीं है। दोनों तरफ से लोग जंगलों में छुपकर एक-दूसरे पर हमला कर रहे हैं। लोगों को उपद्रवियों से बचाने CRPF को मोर्चा संभालना पड़ा है। दोनों राज्यों के मुख्यमंत्री लगातार लोगों से शांति बनाए रखने की अपील कर रहे हैं। इस तस्वीर में आप देख सकते हैं कि हमले से बचने कैसे एक बूढ़ी अम्मा सुरक्षाबलों के पीछे छुप गईं।

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जंगल में छुपकर कर रहे फायरिंग
उपद्रवी असम के काछर, करीमगंज, हैलाकांडी में छुपकर हिंसा कर रहे हैं। ये इलाके मिजोरम के एजवाल, मामित और कोलाबेस से जुड़ते हैं। मिजोरम के डिप्टी इंस्पेक्टर जनरल ऑफ पुलिस के अनुसार असम पुलिस ने उनके लोगों पर फायरिंग की है। ग्रेनेड तक फेंकने की खबर है।

विवाद पर बोले असम के मुख्यमंत्री
असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा-यह कोई राजनीतिक मुद्दा नहीं है। यह दो राज्यों के बीच सीमा विवाद है। यह लंबे समय से चला आ रहा सीमा विवाद है। उस समय भी विवाद था, जब दोनों तरफ कांग्रेस की सरकार थी। यह दो राज्यों के बीच का विवाद है, दो राजनीतिक दलों के बीच नहीं। यह एक आरक्षित वन है। क्या आरक्षित वन का उपयोग बंदोबस्त के लिए किया जा सकता है? विवाद जमीन का नहीं, जंगल का है। असम जंगल की रक्षा करना चाहता है। यह वन क्षेत्र में कोई समझौता नहीं कर रहा है, हम वहां कोई समझौता नहीं चाहते हैं। जब गोलीबारी हो रही थी (कल असम-मिजोरम सीमा पर) मैंने मिजोरम के मुख्यमंत्री को छह बार फोन किया। उन्होंने 'सॉरी' कहा और मुझे आइजोल में बातचीत के लिए आमंत्रित किया। हमारी जमीन का एक इंच भी कोई नहीं ले सकता। हम अपने क्षेत्र को सुरक्षित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।

देश की राजनीति गर्माई
इस मामले को लेकर देश की राजनीति गर्मा गई है। कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा-गृह मंत्री अमित शाह को इस समस्या का हल निकालने के लिए पहले से ही कहना चाहिए था कि ये अंतरराष्ट्रीय सीमा का मामला नहीं है, बल्कि प्रांतीय सीमा का मामला है। अगर वो इस मामले को पहले हल करते तो ये घटना टल सकती थी। राहुल गांधी ने भी एक वीडियो ट्वीट किया। हिंसक झड़प के मामले में कांग्रेस ने 7 मेंबर्स की कमेटी बनाई है। कमेटी अपनी रिपोर्ट पार्टी की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को सौंपेगी। इसमें सांसद गौरव गोगोई को भी शामिल किया गया है। इस बीच सिलचर में असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने असम-मिज़ोरम सीमा संघर्ष में अपनी जान गंवाने वाले पुलिसकर्मियों को श्रद्धांजलि दी।

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