'फिलिस्तीन' लिखा बैग लेकर संसद आईं प्रियंका गांधी, भाजपा ने कही ये बात

Published : Dec 16, 2024, 03:02 PM IST
Priyanka Gandhi

सार

प्रियंका गांधी वाड्रा संसद में 'फिलिस्तीन' लिखा बैग लेकर पहुंचीं, जिस पर भाजपा नेता संबित पात्रा ने निशाना साधा। प्रियंका ने हाल ही में फिलिस्तीन दूतावास के प्रभारी से मुलाकात की थी और गाजा पर इजरायली हमले की निंदा की थी।

नई दिल्ली। कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी वाड्रा सोमवार को 'फिलिस्तीन' लिखा बैग लेकर संसद पहुंचीं। इसने लोगों का ध्यान अपनी ओर खिंचा। प्रियंका के बैग पर बड़े अक्षर में Palestine लिखा हुआ था। इसके साथ ही फिलिस्तीनियों के साथ एकजुटता के प्रतीक चिह्न भी छपे थे। इसमें तरबूज भी शामिल था। यह इस क्षेत्र में प्रतिरोध का एक लंबे समय से मान्यता प्राप्त प्रतीक है।

भाजपा नेता संबित पात्रा इस बैग के लिए प्रियंका गांधी पर कटाक्ष किया है। प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान पात्रा ने कहा, "गांधी परिवार हमेशा से तुष्टिकरण का बैग लेकर चलता आया है। इसी तुष्टिकरण बैग के चलते चुनावों में उसकी हार होती है।"

प्रियंका गांधी ने फिलिस्तीन दूतावास के प्रभारी के साथ की थी बैठक

बता दें कि जब कुछ दिनों प्रियंका गांधी ने फिलिस्तीन दूतावास के प्रभारी अबेद एल्राजेग अबू जाजर के साथ बैठक की थी। इस दौरान उन्हें काले और सफेद रंग का केफियेह (एक पारंपरिक फिलिस्तीनी दुपट्टा) पहने देखा गया था।

बैठक दिल्ली स्थित प्रियंका गांधी के घर में हुई थी। जाजर केरल के वायनाड से चुनाव जीतने पर प्रियंका गांधी को बधाई देने आए थे। चर्चा के दौरान जाजर ने कहा कि भारत को गाजा में युद्ध विराम की वकालत करनी चाहिए। भारत गाजा पट्टी के पुनर्निर्माण में सहायता का नेतृत्व करे।

प्रियंका गांधी ने की है गाजा पट्टी पर इजरायली हमले की निंदा

प्रियंका गांधी ने गाजा पट्टी पर इजरायल के हमले की आलोचना की है। उन्होंने इसे अंतरराष्ट्रीय कानून का उल्लंघन बताया था। इसके साथ ही आरोप लगाया था कि गाजा में शांति स्थापित हो इसके लिए मोदी सरकार कोई पहल नहीं कर रही है।

प्रियंका ने गाजा की लड़ाई को "बर्बर" बताया था। विश्व भर के देशों से आग्रह किया था कि इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू द्वारा किए जा रहे हमले की निंदा करें। उन्होंने एक्स पर जुलाई में पोस्ट किया था, "यह हर सही सोच वाले व्यक्ति की नैतिक जिम्मेदारी है, जिसमें उन सभी इजरायली नागरिक भी शामिल हैं जो घृणा और हिंसा में विश्वास नहीं करते हैं, और दुनिया की हर सरकार की यह नैतिक जिम्मेदारी है कि वे इजरायल सरकार की नरसंहारकारी कार्रवाइयों की निंदा करें। उन्हें रोकने के लिए मजबूर करें।"

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