चलो खड़गे के बहाने 'चाय पर चर्चा' करते हैं, क्या आपको पता है दुनिया के कितने देश भारतीय चाय पीते हैं?

 बात 2014 से शुरू होती है, जब चाय की चर्चाओं से राजनीति गर्मा गई थी। तब देशभर में भाजपा ने चौपालों पर 'चाय पर चर्चा'  कैम्पेन छेड़ा था। अब गुजरात विधानसभा चुनाव में फिर चाय पर चर्चा छिड़ गई है। हुआ यूं कि कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर हमला बोलते हुए अपनी कथित तकलीफ बयां की। 

Amitabh Budholiya | Published : Nov 29, 2022 5:27 AM IST / Updated: Nov 29 2022, 10:58 AM IST

ट्रेंडिंग न्यूज. बात 2014 से शुरू होती है, जब चाय की चर्चाओं से राजनीति गर्मा गई थी। तब देशभर में भाजपा ने चौपालों पर 'चाय पर चर्चा'  कैम्पेन शुरू किया था। अब गुजरात विधानसभा चुनाव(gujarat assembly election 2022) में फिर चाय पर चर्चा छिड़ गई है। हुआ यूं कि कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर हमला बोलते हुए अपनी कथित तकलीफ बयां की। गुजरात में प्रचार के लिए पहुंचे खड़गे ने रविवार(27 नवंबर) को सूरत की रैली में खुद को अछूत और प्रधानमंत्री को झूठों का सरदार बताते हुए कहा- प्रधानमंत्री खुद को गरीब कहते हैं, लेकिन मुझसे बड़ा गरीब कौन होगा, मैं तो अछूत हूं। 


कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के ही शब्दों में जानिए-"आपके जैसा आदमी, जो हमेशा क्लेम करते हैं, मैं गरीब हूं। अरे भाई, हम भी गरीब हैं। हम तो गरीब से गरीब हैं। हम तो अछूतों में आते हैं। कम से कम तुम्हारी चाय तो कोई पीता है, मेरी चाय भी नहीं पीता कोई। और फिर आप बोलते हैं- मैं गरीब हूं। मेरे को किसी ने गालियां दीं, मेरी तो हैसियत क्या है।"

हालांकि इस पर असम के मुख्यमंत्री हेमंत बिस्वा सरमा ने अहमदाबाद में जवाब दिया-"खड़गे जी बोल रहे हैं कि कोई उनके साथ चाय नहीं पीता है। हो सकता है कि राहुल जी अब तक उनके साथ चाय नहीं पीते। खड़गे जी के इस बयान पर राहुल जी को एक ट्वीट करना चाहिए, जिसमें वे खड़गे जी के साथ चाय पी रहे हों। ये बहुत जरूरी है।"


1. इंडियन ब्रांड इक्विटी फाउंडेशन(IBEF) की वेबसाइट के अनुसार, भारत ग्लोबली चाय का दूसरा सबसे बड़ा उत्पादक देश है। स्ट्रांग जियोग्राफिकल इंडिकेशंस, टी प्रोसेसिंग यूनिट्स में हैवी इन्वेस्टमेंट, निरंतर इनोवेशं, संवर्धित उत्पाद मिश्रण(augmented product mix) और स्ट्रेटेजि मार्केट एक्सपेंशन के कारण भारतीय चाय दुनिया में बेहतरीन में से एक है। 

2.2018 के सर्वेक्षण के अनुसार, चाय उत्पादन के लिए भारत में कुल 6.37 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में खेती की जाती थी। भारत वर्ल्ड टॉप टी कन्ज्यूमिंग कंट्रीज में भी शामिल है।

3. भारत में उत्पादित चाय का 80% लोकल आबादी द्वारा उपभोग किया जाता है। कैलेंडर वर्ष 2020 के लिए भारत का कुल चाय उत्पादन 1,257.52 मिलियन किलोग्राम था और वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए यह 1,283 मिलियन किलोग्राम था। 

4. मई 2022 में, भारत का चाय उत्पादन 127.11 मिलियन किलोग्राम था और यह अप्रैल 2022 में 91.77 मिलियन किलोग्राम था। जनवरी-सितंबर 2022 तक, भारत का चाय उत्पादन 984.67 मिलियन किलोग्राम था।

5. भारत का उत्तरी भाग 2021-22 में देश के वार्षिक चाय उत्पादन का लगभग 83% सबसे बड़ा उत्पादक है, जिसमें अधिकांश उत्पादन असम और उसके बाद पश्चिम बंगाल से आता है। असम घाटी और कछार असम में दो चाय उत्पादक क्षेत्र हैं। पश्चिम बंगाल में दोआर्स, तराई और दार्जिलिंग तीन प्रमुख चाय उत्पादक क्षेत्र हैं। भारत का दक्षिणी भाग देश के कुल उत्पादन का लगभग 17% उत्पादन करता है, जिसमें प्रमुख उत्पादक राज्य तमिलनाडु, केरल और कर्नाटक हैं।

6. भारत दुनिया के शीर्ष 5 चाय निर्यातकों में से एक है, जो कुल निर्यात का लगभग 10% निर्यात करता है। वर्ष 2021 में, भारत से चाय निर्यात का कुल मूल्य लगभग 687.9 मिलियन अमेरिकी डॉलर था।

7. भारतीय असम, दार्जिलिंग और नीलगिरि चाय को दुनिया में बेहतरीन चाय में से एक माना जाता है। भारत से निर्यात की जाने वाली अधिकांश चाय काली चाय है, जो कुल निर्यात का लगभग 96% है। 

8. भारत के माध्यम से निर्यात की जाने वाली चाय के प्रकार हैं: काली चाय, नियमित चाय, हरी चाय, हर्बल चाय, मसाला चाय और नींबू चाय। इनमें से काली चाय, नियमित चाय और हरी चाय भारत से निर्यात की जाने वाली कुल चाय का लगभग 80%, 16% और 3.5% है।

9. 2021-22 के दौरान भारत का कुल चाय निर्यात मात्रा में 201 मिलियन किलोग्राम था। जनवरी-अप्रैल 2022 के दौरान कुल निर्यात 65 मिलियन किलोग्राम था और इसका मूल्य 215 मिलियन अमेरिकी डॉलर था, जो 2021 में इसी अवधि की तुलना में 9% अधिक है। जनवरी-दिसंबर 2021 की अवधि के लिए मात्रा के मामले में भारत से निर्यात 197 मिलियन था। यूएस $ 718 मिलियन (2020 से 1.7% की वृद्धि) के कुल निर्यात मूल्य के साथ किग्रा। 

10. वित्तीय वर्ष 2021-22 की अवधि (अप्रैल-नवंबर 2021 के बीच) के दौरान, भारत ने 458.88 मिलियन अमेरिकी डॉलर मूल्य की चाय का निर्यात किया। पिछले कुछ वर्षों में भारत के प्रति किलोग्राम निर्यात मूल्य में लगातार वृद्धि देखी गई है।

11. 2021-22 के दौरान, चाय की इकाई कीमत 3.62 अमेरिकी डॉलर प्रति किलोग्राम थी। यह, पिछले वर्ष में 3.52 अमेरिकी डॉलर था। 2018-19 से, 2021-22 में भारत से बाहर निर्यात की जाने वाली चाय की प्रति यूनिट कीमत में 17% की वृद्धि हुई है। अप्रैल 2022 से जून 2022 तक भारत का कुल चाय निर्यात 65.19 मिलियन किलोग्राम था, इसका मूल्य 236.36 मिलियन अमेरिकी डॉलर था, जो पिछले वर्ष की इसी अवधि की तुलना में 19.77 मिलियन अमेरिकी डॉलर अधिक था।

12. भारत दुनिया भर के 25 से अधिक देशों में चाय का निर्यात करता है। रूस, ईरान, यूएई, यूएसए, यूके, जर्मनी और चीन भारत से चाय के कुछ प्रमुख आयातक हैं। 

13. 2021-22 के दौरान रूस, यूक्रेन और कजाकिस्तान ने भारत से क्रमश: 3.25 करोड़ किलो, 16.8 लाख किलो और 64.8 लाख किलो चाय का आयात किया। उस अवधि के दौरान सीआईएस देशों को भारतीय निर्यात का हिस्सा कुल निर्यात का 21% (42.5 मिलियन किलोग्राम) था। ईरान, यूएई और यूएसए भारत के शीर्ष चाय निर्यात स्थलों में से हैं।

14.  2021-22 के दौरान तीनों देशों ने भारत से 2.93 करोड़ किलो, 2.33 करोड़ किलो और 1.35 करोड़ किलो चाय का आयात किया। इसी अवधि के दौरान इन देशों को संयुक्त रूप से कुल निर्यात का मूल्य 277.3 मिलियन अमेरिकी डॉलर था।

15. 2021-22 के दौरान, जर्मनी, यूएसए, यूएई और आयरलैंड को निर्यात पिछले वर्ष की तुलना में क्रमशः 14%, 12%, 70% और 17% बढ़ा।  भारत के कुछ अन्य चाय निर्यात देश हैं-पोलैंड, कनाडा, सऊदी अरब, मिस्र, अफगानिस्तान, बांग्लादेश, चीन, सिंगापुर, श्रीलंका, केन्या, जापान, पाकिस्तान और ऑस्ट्रेलिया आदि हैं। इन सभी देशों ने संयुक्त रूप से 116 मिलियन अमेरिकी डॉलर की चाय का हिसाब लगाया। वर्ष 2021-22 के लिए चाय निर्यात राजस्व में भारत से निर्यात का योगदान 16% है।

( यह रिसर्च इंडियन ब्रांड इक्विटी फाउंडेशनIBEF की वेबसाइट पर पब्लिश की गई है )

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