
नई दिल्ली। देश की राजधानी दिल्ली के लाल किला विस्फोट जांच एजेंसियों को मिले नए सबूतों ने इस सवाल को और गहरा कर दिया है। लाल किले के पास हुए धमाके में मारे गए सुसाइड बॉम्बर डॉ. उमर मोहम्मद उर्फ उमर-उन-नबी के फोन से 12 कट्टरपंथी वीडियो मिले हैं-ऐसे वीडियो जो सिर्फ नफरत ही नहीं, बल्कि एक पूरी पीढ़ी को भड़काने का काम कर रहे थे। उमर न सिर्फ वीडियो बनाता था, बल्कि ऑनलाइन सुसाइड बांबिंग (Suicide Bombing) सेशन भी लेता था और अपने ग्रुप के लोगों को “शहादत ऑपरेशन” के नाम पर मरने के लिए तैयार करता था। एन्क्रिप्टेड चैट्स से पता चलता है कि उसने दिल्ली ब्लास्ट के सह-साजिशकर्ता जसीर बिलाल तक को इसी तरह ब्रेनवॉश किया। क्या यह सब एक अकेले आतंकी का काम था, या अल फलाह यूनिवर्सिटी से जुड़ा बड़ा व्हाइट कॉलर टेरर मॉड्यूल पर्दे के पीछे काम कर रहा था? जांच ने अब कई नए धागे पकड़ लिए हैं।
जांच के मुताबिक, उमर हरियाणा की अल-फलाह यूनिवर्सिटी से जुड़े उस टेरर मॉड्यूल का हिस्सा था, जहां पढ़े-लिखे लोग, डॉक्टर और रिसर्चर तक आतंकी विचारधारा से प्रभावित हो रहे थे। उमर ने पिछले कुछ महीनों में खुद कई वीडियो रिकॉर्ड किए। इन वीडियो में वह अफगान मुजाहिदीन और तालिबान के उदाहरण देकर युवाओं को भड़काने की कोशिश करता था। उसका मकसद साफ था-लोगों को यह समझाना कि अगर तालिबान सुपरपावरों को हरा सकता है, तो वे भी भारत जैसे देश को चुनौती दे सकते हैं।
एजेंसियों को मिली चैट हिस्ट्री से पता चला कि उमर कई ग्रुप मेंबर्स से एन्क्रिप्टेड ऐप्स पर बात करता था। उन्हें लगातार कट्टरपंथी वीडियो भेजता था और उन्हें “जिहादी मिशन” में शामिल होने के लिए उकसाता था। यही नहीं, उसने अपने ऑनलाइन समूह को Suicide Bombing से जुड़े लाइव सेशन भी दिए।
एक वायरल वीडियो में उमर साफ-साफ कह रहा है कि सुसाइड बॉम्बिंग को गलत समझा गया है, यह एक “शहादत ऑपरेशन” है। अपने ग्रुप को वह यह भी समझाता है कि मौत से डरना नहीं चाहिए, क्योंकि “किस्मत पहले से तय रहती है।” सोचकर ही डर लगता है कि क्या यह सेशन युवाओं को मौत को महिमामंडित करने के लिए मजबूर कर रहे थे?
जांच में पता चला कि उमर ने यह वीडियो जसीर बिलाल को भी भेजे थे। शुरू में जसीर हमले में शामिल होने से हिचकिचा रहा था, लेकिन लगातार वीडियो मिलने के बाद वह प्रभावित हो गया। यानी ब्रेनवॉश का असर दिख रहा था।
जब पुलिस ने मॉड्यूल के दो सदस्यों डॉ. मुजम्मिल शकील और डॉ. आदिल राथर को गिरफ्तार किया और 2,900 किलो विस्फोटक बरामद किए, तो शक है कि उमर घबरा गया। उसी घबराहट में उसने i20 कार में ही धमाका कर दिया।