ईवीएम के खिलाफ प्रदर्शन करने जंतर-मंतर पहुंचे पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में लिया

Published : Feb 22, 2024, 04:42 PM ISTUpdated : Feb 23, 2024, 12:04 AM IST
Digvijaya Singh

सार

दिल्ली के जंतर-मंतर पर प्रदर्शन करने के लिए पहुंचे नेताओं को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में ले लिया। हिरासत में लिए गए नेताओं के कांग्रेस के सीनियर लीडर पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह भी शामिल हैं।

EVM protest in Delhi: लोकसभा चुनाव के पहले ईवीएम के खिलाफ बड़े स्तर पर राजनैतिक दलों व कुछ संगठनों ने गुरुवार को विरोध प्रदर्शन किया। दिल्ली के जंतर-मंतर पर प्रदर्शन करने के लिए पहुंचे नेताओं को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में ले लिया। हिरासत में लिए गए नेताओं के कांग्रेस के सीनियर लीडर पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह भी शामिल हैं। ईवीएम के खिलाफ प्रोटेस्ट के लिए जंतर-मंतर पर कार्यक्रम प्रस्तावित था लेकिन दिल्ली पुलिस ने इसके लिए परमिशन नहीं दिया। परमिशन नहीं मिलने के बावजूद प्रदर्शन करने पर नेताओं को पुलिस ने अरेस्ट कर लिया।

EVM हटाओ, लोकतंत्र बचाओ के बैनर तले विरोध प्रदर्शन

दिल्ली के जंतर-मंतर पर राजनैतिक दलों के नेताओं व सामाजिक कार्यकर्ताओं का यह विरोध प्रदर्शन ईवीएम हटाओ-लोकतंत्र बचाओ के बैनर तले आयोजित किया गया था। दिग्विजय सिंह ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर एक पोस्ट के माध्यम से प्रदर्शन में शामिल होने का ऐलान किया था। पूर्व सीएम ने सोशल मीडिया पर लिखा था कि उन्होंने ईवीएम के खिलाफ शांतिपूर्ण प्रदर्शन में शामिल होने का निमंत्रण स्वीकार कर लिया है। ईवीएम, लोकतांत्रिक प्रक्रिया को कमजोर करता है।

हालांकि, प्रदर्शन के दौरान दिल्ली पुलिस ने पहुंचकर परमिशन नहीं होने की बात कही। इसके बाद वहां मौजूद सभी प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार कर लिया गया। दिल्ली पुलिस के इस कदम की विपक्षी नेताओं ने आलोचना की है। दिग्विजय सिंह ने पीएम मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार पर ईवीएम के दुरुपयोग का आरोप लगाया।

प्रमुख दलित नेता उदित राज ने देश में बढ़ती सत्तावादी प्रवृत्ति पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि देश में लोकतांत्रित ढंग से चलने वाले धरना-प्रदर्शनों को रोका जा रहा है। किसान आंदोलन को दबाया जा रहा है। मोदी सरकार भ्रष्टाचार, मुद्रास्फीति और बेरोजगारी जैसे मुद्दों को संबोधित करने से बचने के लिए असहमति को दबा रही है। उन्होंने कहा कि ईवीएम के इस्तेमाल से लोकतंत्र में वोटों का माखौल उड़ाया जा रहा है।

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