केंद्र सरकार ने एलपीजी घाटे के लिए तेल कंपनियों को 22 हजार करोड़ रुपए की मदद देने का फैसला किया है। इसके साथ ही रेलवे कर्मचारियों के बोनस को भी केंद्रीय कैबिनेट की मंजूरी मिल गई है।
नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने बुधवार को सरकारी तेल कंपनियों को 22 हजार करोड़ रुपए का अनुदान दिया है। यह मदद तेल कंपनियों को घरेलू एलपीजी कीमतों के कारण हुए नुकसान की भरपाई के लिए दिया गया है।
सरकार ने कहा कि जून 2020 से जून 2022 के बीच एलपीजी की अंतरराष्ट्रीय कीमतों में करीब 300 फीसदी का इजाफा हुआ था। इस अनुपात में उपभोक्ताओं के लिए गैस की कीमत नहीं बढ़ी। इस दौरान घरेलू एलपीजी की कीमतों में केवल 72 प्रतिशत की वृद्धि हुई। इससे तेल कंपनियों को नुकसान हुआ।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने तीन तेल विपणन कंपनियों (oil marketing companies) इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन (IOC), भारत पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड (BPCL) और हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड (HPCL) को एकमुश्त अनुदान को मंजूरी दी।
रेलवे कर्मचारियों को मिला बोनस
केंद्रीय मंत्रिमंडल ने रेलवे कर्मचारियों के लिए बोनस को भी मंजूरी दी। केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने बुधवार को इसकी घोषणा करते हुए कहा कि रेलवे के 11.27 लाख कर्मचारियों को उत्पादकता से जुड़ा 1,832 करोड़ रुपए का बोनस दिया जाएगा। यह 78 दिनों का बोनस होगा और इसकी अधिकतम सीमा 17,951 रुपए होगी।
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अनुराग ठाकुर ने कहा कि कैबिनेट ने 2022-23 से 2025-26 तक 15वें वित्त आयोग के शेष चार वर्षों के लिए पूर्वोत्तर क्षेत्र के लिए प्रधानमंत्री विकास पहल (पीएम-डिवाइन) नई योजना को मंजूरी दी है। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने बहु-राज्य सहकारी समितियां (संशोधन) विधेयक, 2022 को मंजूरी दी है।
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