प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लाल किला से अपने संबोधन में महिलाओं के अपमान पर दुख व्यक्त किया। उन्होंने देश के लोगों से इस विकृति से मुक्ति पाने का संकल्प लेने का आह्वान किया।
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वतंत्रता दिवस पर लाल किला से देश को संबोधित (Swantantrta Diwas 2022 PM Modi Speech) करते हुए कहा कि देश के सामने दो बड़ी चुनौतियां है। पहली चुनौती है भ्रष्टाचार और दूसरी चुनौती है भाई-भतीजावाद व परिवारवाद। ये दो चीजें देश को खोखला कर रही है। भ्रष्टाचार देश को दीमक की तरह खोखला कर रहा है। उससे देश को लड़ना ही होगा। हमारी कोशिश है कि जिन्होंने देश को लूटा है, उनको लौटाना भी पड़े। हम इसकी कोशिश कर रहे हैं।
पीएम ने कहा कि जब मैं भाई-भतीजावाद और परिवारवाद की बात करता हूं तो लोगों को लगता है कि मैं सिर्फ राजनीति की बात कर रहा हूं। जी नहीं, दुर्भाग्य से राजनीतिक क्षेत्र की उस बुराई ने हिंदुस्तान के हर संस्थान में परिवारवाद को पोषित कर दिया है। जब तक भ्रष्टाचार और भ्रष्टाचारी के प्रति नफरत का भाव पैदा नहीं होता होता, सामाजिक रूप से उसे नीचा देखने के लिए मजबूर नहीं करते, तब तक ये मानसिकता खत्म नहीं होने वाली है।
पीएम ने दिया जय अनुसंधान का नारा
प्रधानमंत्री ने जय जवान, जय किसान के साथ एक नया नारा दिया है। लाल किला से उन्होंने देश के लोगों को जय अनुसंधान का नारा दिया। उन्होंने कहा कि देश की युवा शक्ति इस क्षेत्र में बड़ी उपलब्धियां हासिल कर रही है। हमें अनुसंधान के क्षेत्र में आगे बढ़ना होगा तभी विकसित भारत का सपना साकार हो सकेगा। गौरतलब है कि पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने जय जवान, जय किसान और जय विज्ञान का नारा दिया था।
बच्चों को करें सैल्यूट
अपने संबोधन में नरेंद्र मोदी ने आत्मनिर्भर भारत अभियान का जिक्र किया। उन्होंने कहा कि हमें देश के बच्चों को सैल्यूट करना चाहिए। 5-5 साल के बच्चों ने अपने परिजनों से कहा कि वे विदेशी खिलौनों से नहीं खेलेंगे। डीआरडीओ द्वारा बनाए गए स्वदेशी तोप का जिक्र करते हुए उन्हें सेना के जवानों को तीन बार सैल्यूट किया।
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पीएम ने कहा कि आज देश में बने तोप से सलामी दी गई तो हमसभी का सीना गर्व से चौड़ा हो गया। पीएम ने कहा कि आत्मनिर्भर भारत हर नागरिक हर सरकार और समाज की हर इकाई का दायित्व है। आत्मनिर्भर भारत सरकारी एजेंडा या सरकारी कार्यक्रम नहीं है। ये समाज का जनआंदोलन है, जिसे हमें आगे बढ़ाना है।
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