अलगाववादी नेता सैयद अली शाह गिलानी का बेटा सरकारी नौकरी से बर्खास्त, आतंकवादी का एक शिक्षक भाई भी निकाला गया

अलगाववादी नेता सैयद अली शाह गिलानी के नाती अनीस-उल-इस्लाम को 2016 में जम्मू-कश्मीर पर्यटन विभाग के तहत शेर-ए-कश्मीर इंटरनेशनल कॉन्फ्रेंस सेंटर या एसकेआईसीसी में रिसर्च अफसर नियुक्त किया गया था। 

Asianet News Hindi | Published : Oct 17, 2021 5:41 AM IST

नई दिल्ली। पाकिस्तान समर्थक (Pro Pakistan) व जम्मू-कश्मीर (Jammu Kashmir) के अलगाववादी नेता (separist leader) सैयद अली शाह गिलानी (Syed Ali Shah Gilani)के पोते (grandson)को राज्य सरकार ने रिसर्च अफसर पद से बर्खास्त कर दिया है। सरकारी स्वामित्व वाले एक केंद्र में अनुसंधान अधिकारी पद पर वह तैनात थे। उनकी नियुक्ति में अनियमतता का आरोप लगा है। 

2016 में हुई थी नियुक्ति अलगाववादी नेता के नाती की

अलगाववादी नेता सैयद अली शाह गिलानी के नाती अनीस-उल-इस्लाम को 2016 में जम्मू-कश्मीर पर्यटन विभाग के तहत शेर-ए-कश्मीर इंटरनेशनल कॉन्फ्रेंस सेंटर या एसकेआईसीसी में रिसर्च अफसर नियुक्त किया गया था। उस वक्त राज्य में बीजेपी और महबूबा मुफ्ती के के पार्टी की गठबंधन की सरकार थी। बताया जा रहा है कि सरकारी नौकरी मिलने के कुछ महीने पहले ही अनीस-उल-इस्लाम पाकिस्तान चला गया था।

अधिकारियों पर बेहद दबाव था नियुक्ति का

सूत्रों के अनुसार अनीस की नियुक्ति के लिए अधिकारियों पर अत्यधिक दबाव था। बताया जा रहा है कि सरकार में शीर्ष अधिकारियों की ओर से अनीस को नियुक्त करने का दबाव था और पूरी भर्ती प्रक्रिया में हेरफेर किया गया था।

अनीस सरकार विरोधी प्रदर्शनों में भी रहा शामिल

अनीस-उल-इस्लाम ने श्रीनगर और उसके आसपास फिल्म विरोध प्रदर्शन के लिए ड्रोन उड़ाने में भी कुछ लोगों की कथित तौर पर मदद की। खुफिया जानकारी के मुताबिक इस नियुक्ति में अत्यधिक अनियमित पाई गई... यह संदेह है कि सरकार द्वारा वित्त पोषित और नियंत्रित एसकेआईसीसी में एक राजपत्रित ग्रेड समकक्ष पद पर नियुक्ति तत्कालीन मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती के बीच बुरहान वानी आंदोलन के दौरान हिंसा को कम करने के लिए एक सौदा था। बता दें कि 2016 में हिजबुल मुजाहिदीन के आतंकवादी बुरहान वानी को सुरक्षा बलों द्वारा मारे जाने के बाद विरोध प्रदर्शन शुरू हो गए थे। सूत्र ने कहा, "तकनीकी इनपुट से पता चलता है कि अनीस यूएई और सऊदी अरब में तीन संदिग्धों के संपर्क में है।"

अधिकारी नियुक्ति की जल्दी में दिखा

सूत्र बताते हैं कि 2005 से खाली पड़े पद को भरने की कोई तात्कालिकता नहीं थी। लेकिन अनीस के एसकेआईसीसी में किसी रिक्त पद की तलाश के लिए अनीस के पाकिस्तान से लौटने के बाद कुछ अधिकारी अचानक जल्दी में थे। यहां तक की सुरक्षा एजेंसियों के क्लीनचिट लिए बगैर नियुक्ति में जल्दीबाजी की गई। 

क्या है एसकेआईसीसी?

SKICC जम्मू और कश्मीर प्रशासन की एक शीर्ष सम्मेलन और कॉन्फ्रेंसिंग सुविधा है, जिसका उपयोग उच्च स्तरीय बैठकों और वीवीआईपी सम्मेलनों के लिए किया जाता है।

एक स्कूली शिक्षक को भी कर दिया गया बर्खास्त

एक स्कूल शिक्षक फारूक अहमद बट को भी बर्खास्त कर दिया गया है। उसे 2005 में अनुबंध पर नियुक्त किया गया था और 2010 में नियमित किया गया था। सूत्र ने कहा, "उसका भाई मोहम्मद अमीन बट लश्कर-ए-तैयबा का आतंकवादी है, जो पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर से सक्रिय है।

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