केजरीवाल सरकार ने पेश किया अपना बजट, मोदी सरकार की महत्वाकांक्षी योजना को लागू करने का ऐलान

केजरीवाल सरकार ने वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए अपना बजट पेश किया। इस बजट में दिल्ली सरकार ने केंद्र सरकार की आयुष्मान भारत योजना को पूरे दिल्ली में लागू करने की मंजूरी दे दी है। 

Asianet News Hindi | Published : Mar 23, 2020 8:35 AM IST / Updated: Mar 23 2020, 03:36 PM IST

नई दिल्ली. केजरीवाल सरकार दिल्ली में तीसरी बार सरकार बनने के बाद अपना पहला बजट सोमवार को पेश किया। दिल्ली सरकार ने केंद्र सरकार के आयुष्मान भारत योजना को लागू करने का ऐलान किया है। जिसके बाद दिल्लीवासियों को आयुष्मान भारत योजना का लाभ मिल सकेगा। दिल्ली के उप-मुख्यमंत्री और वित्त मंत्री मनीष सिसोदिया ने विधानसभा में बजट पेश किया।  

प्रधानमंत्री आयुष्मान योजना लागू करेगी दिल्ली सरकार

प्रधानमंत्री आयुष्मान योजना लागू करने का भी ऐलान किया है, जिसमें 5 लाख रुपये तक के मुफ्त इलाज का प्रावधान है। विपक्षी दल भारतीय जनता पार्टी इसे लागू करने के मुद्दे पर कई बार दिल्ली सरकार पर हमले भी कर चुकी है। वहीं, कोरोना वायरस से लड़ाई के लिए इस साल के लिए 3 करोड़ की राशि और अगले वित्त वर्ष के लिए 50 करोड़ की व्यवस्था की गई है। दिल्ली में मुख्यमंत्री मोहल्ला सुधार योजना शुरू होगी। इस पर 100 करोड़ रुपये की राशि आवंटित की गई है।  इसी के साथ मुख्यमंत्री आवास योजना पर भी तेजी के काम होगा।

दिल्ली में बनेंगे 17 नए स्कूल

दिल्ली सरकार ने वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए बजट में 17 नए स्कूल बनाने के साथ 90 स्कूलों को सिंगल शिफ्ट में किए जाने का प्रस्ताव किया है। बजट पेश करने के दौरान वित्त मंत्री मनीष सिसोदिया ने एलान किया कि पीटीएम के साथ साथ पैरेंटिंग वर्कशॉप भी आयोजित किया जाएगा।  

दिल्ली के सरकारी स्कूलों में बनेंगे 20,000 नए क्लासरूम

बजट पेश करते हुए सिसोदिया ने कहा कि इस बार भी शिक्षा पर खासा जोर दिया है। हैप्पीनेस क्लास और उद्यमिता व देश भक्ति पाठ्यक्रम को बढ़ावा दिया जाएगा। वरिष्ठ कक्षाओं के लिए अखबार उपलब्ध कराया जाएगा। बच्चों को अंग्रेजी बोलने का प्रशिक्षण दिया जाएगा। इस पर 12 करोड़ की राशि खर्च होगी। डिजिटल क्लासरूम बनाने पर 100 करोड खर्च किये जायेंगे। 20 हजार नए क्लासरूम भी बनाए जाएंगे। शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार के लिए दिल्ली का अपना शिक्षा बोर्ड होगा। वित्त मंत्री मनीष सिसोदिया ने एलान किया है कि शिक्षा में सुधार के लिए दिल्ली के लिए अपना राज्य बोर्ड बनेगा, ताकि इसमें नई-नई चीजों का समावेश किया जा सके।

60,000 करोड़ रुपये का बजट पेश

वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए दिल्ली के वित्त मंत्री मनीष सिसोदिया ने दिल्ली विधानसभा में 60,000 करोड़ रुपये का बजट पेश किया है। इसी के साथ उन्होंने कहा कि शिक्षा पर एक चौथाई बजट खर्च किया जा रहा है। स्कूल अच्छे बनाए गए हैं, मगर शिक्षा का स्तर केवल अच्छी इमारतें बना कर नहीं किया जा सकता है, इसलिए सरकार शिक्षा में सुधार भी किया जा रहा है।

बजट से पहले पेश किया गया आर्थिक सर्वेक्षण 

सबसे पहले वित्त मंत्री मनीष सिसोदिया ने सदन में वर्ष 2019-20 का आर्थिक सर्वेक्षण रखा। इस दौरान उन्होंने कहा कि वह ऐसे समय मे बजट रख रहे हैं, जब पूरा विश्व कोरोना जैसी महामारी से जूझ रहा है। 15 हजार लोगों की इस बीमारी से मौत हो चुकी है। जिसके बाद उन्होंने दिल्ली सरकार की उपलब्धियों को गिनाया। आर्थिक सर्वेक्षण पेश करते हुए उन्होंने कहा कि शिक्षा, स्वास्थ्य के क्षेत्र में बहुत काम हुआ है। वैसे हर क्षेत्र पर फोकस किया गया है।

एक मीटर की दूरी पर बैठे विधायक

कोरोना वायरस के चलते विधानसभा में विधायक कम से कम एक मीटर की दूरी पर बैठे दिखाई दिए। विधायकों के लिए 18 कुर्सियां भी अलग से लगाई गई थी। इसी के साथ पूरी विधानसभा को सैनिटाइज़ भी किया गया। कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण को देखते हुए यह बजट सत्र सिर्फ डेढ़ घंटे ही चला। 

2019-20 में 60,000 करोड़ का बजट हुआ था पेश 

दिल्ली सरकार ने पिछले साल 26 फरवरी को वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिए कुल 60,000 करोड़ रुपये का भारी-भरकम बजट पेश किया था। यह चार साल पहले यानी वर्ष 2014-15 में पेश किए गए पहले बजट का दोगुना था। 
 

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