Money Laundering Case: पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख के दोनों सहयोगियों की जमानत याचिका भी रद्द

देशमुख को पहली नवम्बर को मनी लॉन्ड्रिंग केस (money laundering case) में अरेस्ट किया गया था। देशमुख ब्लैक मनी को व्हाइट करने के आरोपों का सामना कर रहे हैं। 

Asianet News Hindi | Published : Dec 7, 2021 11:18 PM IST

मुंबई। महाराष्ट्र (Maharashtra) के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख (Anil Deshmukh)से संबंधित 100 करोड़ मनी लॉन्ड्रिंग मामले में संजीव पलांडे और कुंदन शिंदे की जमानत याचिका रद्द हो गई। मंगलवार को मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट कोर्ट ने दोनों की जमानत अर्जी खारिज कर दी। अनिल देशमुख के गृह मंत्री रहते हुए संजीव पलांडे उनके निजी सचिव (पीएस) और कुंदन निजी सहायक (पीए) रहे थे। दोनों पर इस केस में संलिप्त होने का आरोप है।

इसी साल अगस्त माह में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने मनी लान्ड्रिंग केस (Money Laundering Case) में महाराष्ट्र के पूर्व गृह मंत्री और एनसीपी के नेता अनिल देशमुख के दो सहयोगियों के खिलाफ विशेष अदालत में करीब 6 हजार पन्नों का आरोपपत्र सौंपा था। 

1 नवम्बर को किए गए थे अरेस्ट

देशमुख को पहली नवम्बर को मनी लॉन्ड्रिंग केस (money laundering case) में अरेस्ट किया गया था। देशमुख ब्लैक मनी को व्हाइट करने के आरोपों का सामना कर रहे हैं। उन्हें 1 नवंबर की देर रात अरेस्ट किया गया था। इस मामले में उनके परिजन भी जांच के दायरे में हैं।

100 करोड़ रुपए की वसूली से जुड़ा है मामला 

अनिल देखमुख के खिलाफ 100 करोड़ रुपए की अवैध वसूली का आरोप है। प्रवर्तन निदेशालय ने 21 अप्रैल को उनके खिलाफ केस दर्ज किया था। ED का आरोप है कि देशमुख ने अपने पद का दुरुपयोग किया और एंटीलिया केस के आरोपी निलंबित पुलिसकर्मी सचिन वझे के जरिये मुंबई के विभिन्न बार-रेस्त्रां से 4.70 करोड़ रुपए की उगाही कराई थी।

परमबीर सिंह ने उद्धव ठाकरे को लिखा था लेटर

मुकेश अंबानी (Mukesh Ambani) के घर के बाहर मिले विस्फोटक की जांच के बाद यह मामला सामने आया था। मुंबई के पूर्व पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह (Parambir Singh) ने महाराष्ट्र के सीएम उद्धव ठाकरे (Udhav Thackeray) को पत्र लिखकर आरोप लगाया था कि अनिल देशमुख ने सचिन वझे (एंटीलिया केस का मुख्य आरोपी) को बार, रेस्तरां और अन्य जगहों से हर महीने 100 करोड़ रुपए इकट्ठा करने के लिए कहा था। चिट्ठी में परमबीर सिंह ने लिखा था, "गृहमंत्री देशमुख ने सचिन वझे को कई बार अपने बंगले पर बुलाया। फंड कलेक्ट करने का आदेश दिया। इस दौरान उनके पर्सनल सेक्रेटरी मिस्टर पलांडे भी वहां मौजूद थे। मैंने इस मामले को डिप्टी चीफ मिनिस्टर और एनसीपी चीफ शरद पवार को भी ब्रीफ किया।"

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