गांव में भी घुसने नहीं देंगे...निर्भया के नाबालिग दोषी पर गुस्साए लोग, मां का ऐसा था रिएक्शन

निर्भया के चारों दोषियों को 20 मार्च की सुबह 5.30 बजे फांसी दे दी गई। इस केस में कुल 6 दोषी थे। 5 की मौत हो चुकी है। एक नाबालिग था, जिसे 3 साल बाद रिहा कर दिया गया।

Asianet News Hindi | Published : Mar 21, 2020 5:44 AM IST

नई दिल्ली. निर्भया के चारों दोषियों को 20 मार्च की सुबह 5.30 बजे फांसी दे दी गई। इस केस में कुल 6 दोषी थे। 5 की मौत हो चुकी है। एक नाबालिग था, जिसे 3 साल बाद रिहा कर दिया गया। अब वह साउथ के किसी राज्य में कुक का काम करता है। दोषियों को फांसी के बाद जब नाबालिग के मां से बात की गई तो उन्होंने कहा, मुझे विश्वास ही नहीं होता कि मेरा बेटा ऐसा कर सकता है।

लोगों ने कहा, नाबालिग दोषी को गांव में नहीं घुसने देंगे
दिल्ली गैंगरेप वारदात के बाद से नाबालिग तीन साल की सजा काटने के बाद अपने घर नहीं गया। उसे सीधा साउथ के किसी राज्य में भेज दिया गया। वहीं नाबालिग के गांव के लोगों का कहना है कि वह 3 साल की सजा के बाद छूट तो गया, लेकिन उसे गांव में नहीं घुसने देंगे। 

वारदात के दौरान वह 17 साल का था
निर्भया केस की पड़ताल में खुलासा हुआ था कि वारदात के वक्त नाबालिग 17 साल का था। यह जन्मतिथि उसके स्कूल सर्टिफिकेट के आधार पर सामने आई। 

दिल्ली में बस सफाई का काम करती था
नाबालिग गांव से भागकर दिल्ली पहुंच गया था। यहां बस अड्डों पर साफ-सफाई का काम करता था। 

20 मार्च की सुबह 5.30 बजे चारों को फांसी दी गई
दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने चौथी बार डेथ वॉरंट जारी कर 20 मार्च की सुबह 5.30 बजे फांसी की तारीख तय की गई थी। तिहाड़ जेल में शुक्रवार को चारों दोषियों को फांसी के फंदे पर टांग दिया गया। 

दोषी 1 राम सिंह- निर्भया का मुख्य दोषी राम सिंह था। मार्च 2013 में तिहाड़ जेल में राम सिंह की लाश मिली थी। पुलिस के मुताबिक राम सिंह ने खुद को फांसी लगाई थी, लेकिन बचाव पक्ष के वकीलों और राम सिंह के परिवार का आरोप था कि राम सिंह की हत्या की गई थी। राम सिंह बस ड्राइवर था। दक्षिण दिल्ली के रविदास झुग्गी में रहने वाला राम सिंह वारदात से 20 साल पहले राजस्थान से दिल्ली आया था। निर्भया केस में सबसे पहले राम सिंह को ही गिरफ्तार किया गया था। 

दोषी 2 पवन गुप्ता- पवन दिल्ली में फल बेंचने का काम करता था। वारदात वाली रात वह बस में मौजूद था। पवन जेल में रहकर ग्रेजुएशन की पढ़ाई कर रहा था।

दोषी 3 विनय शर्मा- निर्भया का दोषी विनय जिम ट्रेनर का काम करता था। वारदात वाली रात विनय बस चला रहा था। इसने पिछले साल जेल के अंदर आत्‍महत्‍या की कोशिश की थी लेकिन बच गया था।

दोषी 4 अक्षय ठाकुर- यह बिहार का रहने वाला है। इसने अपनी पढ़ाई बीच में ही छोड़ दी और दिल्ली चला आया। शादी के बाद ही 2011 में दिल्ली आया था। यहां वह राम सिंह से मिला। घर पर इस पत्नी और एक बच्चा है।

दोषी 5 मुकेश सिंह - निर्भया से गैंगरेप का दोषी मुकेश बस क्लीनर का काम करता था। जिस रात गैंगरेप की यह घटना हुई थी उस वक्त मुकेश सिंह बस में ही सवार था। गैंगरेप के बाद मुकेश ने निर्भया और उसके दोस्त को बुरी तरह पीटा था।

दोषी 6 नाबालिग दोषी- निर्भया को 6वां दोषी नाबालिग था। वारदात के वक्त वह 17 साल का था। नाबालिग दोषी उत्तर प्रदेश के एक गांव का रहना वाला है। वह 11 साल की उम्र में दिल्ली आया था। इस केस में इसपर बतौर नाबालिग मुकदमा चलाया गया। 31 अगस्त 2013 को नाबलिग को बलात्कार और हत्या का दोषी पाया गया और उसे सुधार गृह में तीन साल के लिए भेज दिया गया। इसके बाद उसे फ्री कर दिया गया।

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