पालघर लिंचिंगः BJP नेता बोले- आदिवासी कभी भगवाधारी पर हमला कर नहीं सकते, ये मार्क्सवादी हत्यारे हैं

Published : Apr 20, 2020, 03:40 PM IST
पालघर लिंचिंगः BJP नेता बोले- आदिवासी कभी भगवाधारी पर हमला कर नहीं सकते, ये मार्क्सवादी हत्यारे हैं

सार

पालघर में साधुओं की पीट-पीटकर हत्या किए जाने के बाद दोषियों के खिलाफ चौतरफा कार्रवाई की मांग की जा रही है। वहीं, भाजपा के राष्ट्रीय सचिव सुनिल देवधर ने जानबुझकर हत्या किए जाने का आरोप लगाते हुए हमलावरों को मार्क्सवादी हत्यारा बताया है। इस मामले में पुलिस ने अब तक 110 लोगों को गिरफ्तार किया है। 

पालघर. महाराष्ट्र के पालघर जिले में जूना अखाड़े के दो साधुओं समेत तीन लोगों की पीट-पीटकर हत्या के मामला अब तुल पकड़ता जा रहा है। एक ओर जहां दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग तेज हो गई है। वहीं, दूसरी तरफ सीएम उद्धव ठाकरे एक्शन मोड में आ गए हैं। उन्होंने जिम्मेदारों से रिपोर्ट तलब की है। इन सब के बीच संघ के प्रचारक और भाजपा के राष्ट्रीय सचिव सुनिल देवधर ने लेफ्ट पर बड़ा हमला बोला है। उन्होंने कहा है कि आदिवासी कभी भगवाधारी पर हमला नहीं कर सकते। 

पालघर में हत्याएं जानबुझकर की गई हैं 

भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय सचिव व त्रिपुरा भाजपा प्रभारी ने पालघर में हुए साधुओं समेत तीन लोगों की हत्या पर ट्वीट करते हुए कहा, 'आदिवासी कभी भगवाधारी पर हमला कर नहीं सकते| पालघर की हत्यांए चोर नहीं बल्कि साधु है यह जान कर ही की गयी। वर्षोंसे वामपंथीयों का गढ़ रहे इस दहानू क्षेत्र का MLA भी सीपीएम-एनसीपी गठबंधन का है। हमलावरों को आदिवासी नहीं बल्कि मार्क्सवादी हत्यारे कहना ही उचित होगा।'

अब तक 110 लोग गिरफ्तार, दो पुलिस अफसर निलंबित 

पालघर में मॉब लिंचिंग के मामले में पुलिस ने कार्रवाई करते हुए 110 लोगों को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार सभी लोगों के खिलाफ गंभीर धाराओं में केस दर्ज किया गया है। गिरफ्तार किए गए 110 लोगों में 9 नाबालिग हैं। सभी आरोपियों को 30 अप्रैल तक पुलिस कस्टडी में रखा गया है, वहीं नाबालिगों को शेल्टर होम भेजा गया है। इधर, इस मामले में लापरवाही बरतने के आरोप में कासा पुलिस स्टेशन के दो अधिकारियों को सस्पेंड कर दिया गया है।

चोर होने की अफवाह फैला साधुओं पर टूट पड़ी भीड़

महाराष्ट्र के पालघर के गड़चिनचले गांव में दो साधुओं की पीट-पीटकर निर्मम हत्‍या कर दी गई। घटना के दिन दोनों साधु इंटिरियर रोड से होते हुए मुंबई से गुजरात जा रहे थे। किसी ने उनके चोर होने की अफवाह उड़ा दी। इसके बाद दर्जनों लोगों की भीड़ उनके ऊपर टूट पड़ी। 

यह पूरी घटना वहां मौजूद कुछ पुलिसकर्मियों के सामने हुई। आरोपियों ने साधुओं के साथ एक ड्राइवर और पुलिसकर्मियों पर भी हमला किया। हमले के बाद साधुओं को अस्पताल ले जाया गया, जहां उन्हें मृत घोषित कर दिया गया। 

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