
नई दिल्ली। निलंबित भाजपा नेता नूपुर शर्मा (Nupur Sharma) द्वारा पैगम्बर मोहम्मद (Prophet Remarks Row) को लेकर की गई टिप्पणी के बाद शुरू हुआ विवाद थम नहीं रहा है। टीवी चैनल भी इस मामले को लेकर डिबेट्स कर रहे हैं। इस बीच ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने आग्रह किया है कि उलमा और बुद्धिजीवी टीवी चैनलों पर बहस में शामिल नहीं हों।
ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने बयान जारी कर उलमा और बुद्धिजीवियों से आग्रह किया है कि वे टीवी चैनलों की बहसों में भाग नहीं लें। यह बयान बोर्ड के महासचिव मौलाना खालिद सैफुल्लाह रहमानी के हवाले से जारी किया गया है। कहा गया है कि उलमा उन टीवी चैनलों की बहस और डिबेट्स में भाग नहीं लें, जिनका उद्देश्य केवल इस्लाम और मुसलमानों का मजाक उड़ाना है।
बयान में कहा गया है कि उलेमा इन कार्यक्रमों में हिस्सा लेकर इस्लाम और मुसलमानों की कोई सेवा नहीं कर पाते। इन कार्यक्रमों का उद्देश्य रचनात्मक चर्चा के माध्यम से किसी निष्कर्ष पर पहुंचना नहीं है। इनका लक्ष्य इस्लाम और मुसलमानों का मजाक उड़ाना और उन्हें बदनाम करना है।
जुमे की नमाज के बाद बवाल
बता दें कि शुक्रवार को नूपुर शर्मा के खिलाफ देशभर में विरोध प्रदर्शन हुआ। जुमे की नमाज के बाद दिल्ली से लेकर बिहार, उत्तरप्रदेश, पश्चिम बंगाल, झारखंड और कर्नाटक तक बवाल हुआ। रांची में मंदिर पर पथराव के बाद पुलिस ने हवाई फायरिंग की। प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर भी पथराव किया, जिससे कई जवान घायल हो गए। इस दौरान एक किशोर की मौत हो गई और 12 लोग घायल हो गए। पुलिस ने भीड़ पर गोलियां चलाई।
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बिहार में उपद्रवियों ने पथ निर्माण मंत्री नितिन नवीन पर हमला किया और उनकी गाड़ी में तोड़फोड़ की। उत्तर प्रदेश के कानपुर, मुरादाबाद और सहारनपुर में हिंसा हुई। पश्चिम बंगाल के कोलकाता और हावड़ा में प्रदर्शनकारियों ने सड़कों पर जमकर नारेबाजी की। दिल्ली के जामा मस्जिद के बाहर विरोध प्रदर्शन किया गया।
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