चित्रकूट में बैठक, बंगाल की हार से सबक लेते हुए सतर्क हुआ संघ, कुछ फेरबदल; लेकिन चंपत राय पर कोई फैसला नहीं

चित्रकूट में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ(RSS) की बैठक में पश्चिम बंगाल में भाजपा की हार का 'सदमा'  संघियों के दिलो-दिमाग पर साफ नजर आया। नतीजा; बंगाल और ओडिशा क्षेत्रीय प्रचारक प्रदीप जोशी के कार्य में फेरबदल करते हुए उन्हें अखिल भारतीय सह संपर्क प्रमुख बना दिया गया है। हालांकि रामजन्मभूमि ट्रस्ट से जुड़े विवाद में महामंत्री चंपत राय को लेकर अभी कोई फैसला नहीं हुआ है।

Asianet News Hindi | Published : Jul 12, 2021 2:34 AM IST / Updated: Jul 12 2021, 09:59 AM IST

सतना. मध्य प्रदेश के चित्रकूट में चल रही राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ(RSS) की बैठक में अगले साल उत्तर प्रदेश सहित 5 राज्यों के चुनाव और 2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव के मद्देनजर गहन विचार-मंथन हुआ। बैठक 12 जुलाई तक चलेगी। बैठक में पश्चिम बंगाल में भाजपा की हार पर भी चिंतन हुआ। नतीजा; संघ ने कुछ फेरबदल कर दिए। इस बीच रामजन्म भूमि ट्रस्ट के जमीन विवाद का मुद्दा भी उठा। ट्रस्ट के महामंत्री चंपत राय खुद अपनी सफाई देने चित्रकूट पहुंचे थे। सूत्रों के अनुसार, उन्हें ट्रस्ट से हटाया जा सकता है, लेकिन अभी मामला होल्ड पर है।

पश्चिम बंगाल का असर, प्रदीप जोशी का काम बदला
पश्चिम बंगाल के साथ ओडिशा के क्षेत्रीय प्रचारक प्रदीप जोशी का दायित्व बदल दिया गया है। उन्हें अखिल भारतीय सह संपर्क प्रमुख बनाया  गया है। इसके साथ ही बंगाल के प्रांत प्रचारक और जोनल प्रचारकों को भी बदला गया है।

अरुण कुमार का काम भी बदला
इस बीच संघ ने सह सरकार्यवाहक अरुण कुमार को अब भाजपा और संघ के बीच समन्वय का काम सौंपा है। अभी तक यह काम डॉ. कृष्ण गोपाल संभालते थे। वे भी सह सरकार्यवाहक हैं। 

पूर्वोत्तर और मुस्लिम मुद्दा छाया रहा
चित्रकूट स्थित दीनदयाल शोध संस्थान के आरोग्यधाम परिसर में 9 से 12 जुलाई तक आयोजित अखिल भारतीय प्रांत प्रचारकों की इस बैठक में संघ प्रमुख मोहन भागवत, सह सर कार्यवाह दत्तात्रेय होसबोले, भैयाजी जोशी, राममाधव, सुरेश सोनी, मदनदास देवी, कृष्ण गोपाल समेत कई प्रांत प्रचारक मौजूद हैं। बैठक में मंथन से निकलकर आया कि बंगाल सहित पूर्वात्तर राज्यों में हिंदुत्व के प्रभाव को बढ़ाने की जरूरत है। इसके अलावा मुसलमानों को भी जोड़ने की रणनीति तैयार की गई। संघ में युवाओं की भागीदारी पर भी जोर दिया गया।

तीसरी लहर के मद्देनजर ट्रेनिंग की जरूरत
बैठक में कोरोना की तीसरी लहर की आशंका को देखते हुए देशभर में संघ से जुड़े कार्यकर्ताओं को विशेष ट्रेनिंग देने की बात कही गई, ताकि वे लोगों की मदद कर सकें। ये ट्रेंड लोग 2.5 लाख जगहों पर जाकर लोगों की मदद करेंगे।

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