श्रीनगर के विश्व भारती गवर्नमेंट हायर सेकेंडरी स्कूल की प्रिंसिपल ने कुछ छात्राओं को स्कूल में अबाया पहनने से मना किया और उन्हें हिजाब पहनने के लिए कहा। नाराज छात्राओं ने विरोध प्रदर्शन कर दिया। आतंकियों ने धमकी दी तो प्रिंसिपल को माफी मांगनी पड़ी।
श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर (Jammu and Kashmir) के श्रीनगर में एक स्कूल की प्रिंसिपल ने छात्राओं को स्कूल के अंदर अबया (सिर से पैर तक ढकने वाला कपड़ा) नहीं पहनने की सलाह दी तो बवाल मच गया। इस मामले में आतंकी भी कूद पड़े और प्रिंसिपल को धमकी दी, जिसके बाद प्रिंसिपल ने माफी मांगी है।
घटना विश्व भारती गवर्नमेंट हायर सेकेंडरी स्कूल की है। प्रिंसिपल ने कुछ छात्राओं को स्कूल के अंदर अबाया नहीं पहनने के लिए कहा था। उन्होंने स्कूल के ड्रेस कोड के रूप में हिजाब पहनने के लिए कहा था। कुछ छात्राओं को यह पसंद नहीं आया। उन्होंने ड्रेस कोड स्वीकार करने से इनकार कर दिया और गुरुवार को इसके खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर दिया।
छात्राओं का आरोप- प्रिंसिपल ने कहा चली जाओ मदरसा
छात्राओं ने आरोप लगाया कि प्रिंसिपल उन्हें ड्रेस कोड का पालन करने के लिए विवश कर रहीं है। यह धार्मिक प्रथाओं के अनुसार वे क्या पहनना चाहती हैं इस पसंद के खिलाफ है। लड़कियों ने आरोप लगाया है कि प्रिंसिपल ने उनसे कहा कि अगर वे अबाया पहनना चाहती हैं तो उन्हें मदरसा में जाना चाहिए। प्रिंसिपल ने इस आरोप का खंडन किया है।
छात्राओं के विरोध प्रदर्शन का वीडियो हुआ वायरल
छात्राओं के विरोध प्रदर्शन का वीडियो जल्द ही सोशल मीडिया पर तेजी से शेयर किया जाने लगा। इससे मामले ने तूल पकड़ लिया। नेताओं ने भी इसपर बयानबाजी की और अबाया पहनने से रोके जाने की तुलना कर्नाटक में हिजाब पर लगे बैन से की।
आतंकी समूह ने दी प्रिंसिपल को धमकी
प्रिंसिपल ने यह स्पष्ट करने की कोशिश की कि स्कूल में ज्यादातर लड़कियां हिजाब पहनती हैं। वह चाहती हैं कि अबाया पहनने वालीं कुछ लड़कियां स्कूल के अंदर अबाया न पहनकर हिजाब पहनें, लेकिन विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा था। एक आतंकी समूह ने बयान जारी कर प्रिंसिपल पर दक्षिणपंथी होने का आरोप लगाया और उन्हें निशाना बनाने की धमकी दी।
प्रिंसिपल ने बयान जारी कर मांगी माफी
प्रिंसिपल ने बयान जारी कर छात्रों और परिजनों की भावनाओं को ठेस पहुंचाने के लिए खेद जताया। उन्होंने कहा, "छात्रों और अभिभावकों के साथ मेरी बातचीत को गलत तरीके से पेश किया गया है। किसी भी मामले में अगर इससे छात्रों या अभिभावकों की भावनाओं को ठेस पहुंची है तो मैं इसके लिए बिना शर्त माफी मांगती हूं। छात्राएं अबाया पहन सकती हैं। अबाया पर कोई प्रतिबंध नहीं लगाया गया है।"