कृषि कानूनों को लेकर किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी है। एक हफ्ते में दो बार सरकार ने पत्र लिखकर किसानों से बातचीत की पहल की। लेकिन किसानों का कहना है कि सरकार नया प्रपोजल नहीं भेज रही है। हालांकि आज किसान तय करेंगे कि आगे की क्या रणनीति होगी और वे सरकार से कब और कैसे बात करेंगे? लेकिन ऐसे में समझना जरूरी हो जाता है कि आखिर सरकार और किसानों के बीच बातचीत कहां जाकर अटक जा रही है?
नई दिल्ली. कृषि कानूनों को लेकर किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी है। एक हफ्ते में दो बार सरकार ने पत्र लिखकर किसानों से बातचीत की पहल की। लेकिन किसानों का कहना है कि सरकार नया प्रपोजल नहीं भेज रही है। हालांकि आज किसान तय करेंगे कि आगे की क्या रणनीति होगी और वे सरकार से कब और कैसे बात करेंगे? लेकिन ऐसे में समझना जरूरी हो जाता है कि आखिर आंदोलन के 30 दिन हो गए, 6 दौर की बातचीत हो गई, फिर भी सरकार और किसानों के बीच बातचीत कहां जाकर अटक जा रही है?
सरकार की चिट्ठी में क्या है?
किसानों की मांग क्या है?