बेटी को ड्यूटी पर जाते देखकर जब बिस्तर पर पड़े पिता की आंखों से निकल आए आंसू

कोरोना महामारी के खिलाफ जारी लड़ाई में ऐसे लोग भी अपनी ड्यूटी निभा रहे हैं, जो खुद किसी परेशानी में हैं या उनके परिवार में कोई बीमार है। यह कहानी भी ऐसी ही एक हॉस्पिटल स्टॉफ युवती की है।

लुधियाना, पंजाब. कोरोना महामारी के खिलाफ जारी लड़ाई में ऐसे लोग भी अपनी ड्यूटी निभा रहे हैं, जो खुद किसी परेशानी में हैं या उनके परिवार में कोई बीमार है। ऐसी ही कहानी है यहां की रहने वाली 25 वर्षीय सतनाम कौर उर्फ सिमरन की। आमतौर पर इस उम्र में कोई बड़ी जिम्मेदारी सिर पर नहीं होती..जब तक कि घर में कोई बड़ी दिक्कतें न हों। सिमरन के घर में भी बड़ी परेशानियां हैं। लेकिन वो घर और ड्यूटी दोनों को बखूबी मैनेज कर रही है। अपनी ड्यूटी को बोझ नहीं समझ रही, बल्कि उसे देश और समाज के लिए अपना फर्ज समझकर शिद्दत से निभा रही है। सिमरन सिविल हॉस्पिटल में कोरोना मरीजों के लिए बनाए गए आइसोलेशन वार्ड में अटेंडर है। जिस वार्ड में लोग जाने से भी घबराते हों, सिमरन मुस्कराते हुए जाती है और मरीजों से यूं पेश आती है, जैसे वो उसके सगे-संबंधी हों। सबसे बड़ी बात, सिमरन के माता-पिता खुद गंभीर बीमार हैं।


बेटी पर पिता को गर्व...
सिमरन चंडीगढ़ मार्ग पर स्थित जमालपुर क्षेत्र में रहती है। सिमरन ने बताया कि उसकी मां को पिछले 10 साल से शुगर है। वे घर का बहुत ज्यादा काम नहीं कर पातीं। उन्हें देखभाल की जरूरत पड़ती है। वहीं, पिता को पांच साल पहले पैरालिसिस का अटैक आया था। तब से वे बिस्तर पर हैं। उसके दो भाई हैं, जो प्राइवेट जॉब करते हैं। 

Latest Videos

जब पिता को पता चला कि उनकी बेटी की ड्यूटी आइसोलेशन वार्ड में लगाई गई है, तो पहले वे चिंतित हो उठे। लेकिन जब बेटी का साहस देखा, तो उन्हें गर्व हुआ। कई बार जब बेटी ड्यूटी पर निकलती है, बिस्तर पर पड़े पिता की आंखें भर आती हैं, लेकिन जैसे ही बेटी मुस्कराती है, तो सारा डर दूर हो जाता है। हालांकि पिता ने हमेशा सिमरन को समाजसेवा के लिए प्रेरित किया। सिमरन बताती हैं कि जब भी कभी ऐसी ड्यूटी की बात आती है, तो पिता हमेशा कहते हैं कि देश और समाज पहले है..घर-परिवार बाद में। सिमरन 12-13 घंटे वार्ड में मरीजों के साथ रहकर भी कभी झुझलाई नहीं।


यही वक्त है अपनी ड्यूटी दिखाने का...
सिमरन बताती हैं कि ऐसे ही मौकों पर पता चलता है कि आप अपनी ड्यूटी को लेकर कितने मुस्तैद हैं और गंभीर हैं। सिमरन कहती हैं कि वे ड्यूटी के दौरान सेफ्टी का पूरा ध्यान रखती हैं। फिर भी मौत से कैसा डरना? एक दिन तो सभी को जाना है।
 

Share this article
click me!

Latest Videos

पहली बार सामने आया SDM थप्पड़ कांड का सच, जानें उस दोपहर क्या हुआ था । Naresh Meena । Deoli-Uniara
झांसी में चीत्कारः हॉस्पिटल में 10 बच्चों की मौत की वजह माचिस की एक तीली
समाजवादी पार्टी का एक ही सिद्धांत है...सबका साथ और सैफई परिवार का विकास #Shorts
नाइजीरिया में मोदी-मोदी, राष्ट्रपति टिनूबू ने किया वेलकम और झूम उठे लोग । PM Modi Nigeria Visit
खराब हो गया पीएम मोदी का विमान, एयरपोर्ट पर ही फंस गए प्रधानमंत्री । PM Modi । Deoghar Airport