भूपेंद्र पटेल सरकार का बड़ा कदम, पीपावाव पोर्ट विस्तार से समुद्री क्षेत्र को नई मजबूती

Published : Oct 29, 2025, 04:36 PM IST
Gujarat CM Bhupendra Patel pipavav port expansion

सार

गुजरात में मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल की उपस्थिति में जीएमबी और एपीएम टर्मिनल्स के बीच 17 हजार करोड़ रुपये के एमओयू पर हस्ताक्षर हुए। पीपावाव पोर्ट विस्तार से राज्य को आर्थिक, औद्योगिक और रोजगार के नए अवसर मिलेंगे।

गांधीनगर। मुख्यमंत्री श्री भूपेंद्र पटेल के नेतृत्व में गुजरात सरकार ने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के ‘समुद्र से समृद्धि’ विजन को साकार करने की दिशा में एक बड़ा कदम उठाया है। बुधवार को गांधीनगर में मुख्यमंत्री श्री भूपेंद्र पटेल और ए.पी. मोलर-मर्स्क बोर्ड के अध्यक्ष श्री रॉबर्ट मर्स्क उग्गला की उपस्थिति में गुजरात मेरीटाइम बोर्ड (GMB) और गुजरात पीपावाव पोर्ट लिमिटेड (APM टर्मिनल्स) के बीच 17 हजार करोड़ रुपये के निवेश का एमओयू हुआ।

पीपावाव बंदरगाह के विस्तार से मिलेगा आर्थिक बल

यह एमओयू पीपावाव पोर्ट की क्षमता विस्तार के जरिए गुजरात के समुद्री क्षेत्र को आधुनिक और मजबूत बनाने के उद्देश्य से किया गया है। मुख्यमंत्री श्री पटेल ने कहा कि इस प्रोजेक्ट से गुजरात की पहचान भारत के "मैरीटाइम गेटवे" के रूप में और सशक्त होगी।

उद्योग, निर्यात और लॉजिस्टिक्स क्षेत्र को मिलेगा बढ़ावा

मुख्यमंत्री ने कहा कि यह समझौता गुजरात के पोर्ट नेटवर्क को और सुदृढ़ बनाएगा। इससे राज्य के उद्योगों, निर्यातकों और लॉजिस्टिक्स सेक्टर को लाभ मिलेगा। इस परियोजना से आयात-निर्यात का समय और खर्च दोनों घटेंगे, साथ ही बंदरगाह क्षेत्र में उद्योग, वेयरहाउसिंग और सप्लाई चेन की सुविधाएं विकसित होंगी। इससे राज्य की आर्थिक गतिविधियों में उल्लेखनीय वृद्धि होगी।

25 हजार रोजगार अवसर होंगे सृजित

इस निवेश से सीधे और परोक्ष रूप से लगभग 25,000 नए रोजगार अवसर बनेंगे। इससे स्थानीय अर्थव्यवस्था को नई गति मिलेगी और ग्रामीण क्षेत्रों में जीवन स्तर में सुधार होगा।

बंदरगाह की क्षमता बढ़ाने के लिए अत्याधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास

एमओयू के अंतर्गत पीपावाव पोर्ट की कंटेनर, बल्क, लिक्विड और रो-रो कार्गो हैंडलिंग क्षमता बढ़ाई जाएगी। इसमें आधुनिक कंटेनर टर्मिनल्स, डिजिटल ऑपरेशन सिस्टम्स और पर्यावरण-अनुकूल इंफ्रास्ट्रक्चर विकसित किया जाएगा। इससे बंदरगाह का कामकाज और तेज व प्रभावी बनेगा।

मैरीटाइम अमृतकाल विजन 2047 की दिशा में अहम कदम

यह प्रोजेक्ट प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के “मैरीटाइम अमृतकाल विजन 2047” के अनुरूप है, जिसके तहत गुजरात के नॉन-मेजर पोर्ट्स की क्षमता वर्ष 2047 तक 3000 एमएमटीपीए करने का लक्ष्य है। पीपावाव पोर्ट का यह विस्तार इस दिशा में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा।

एपीएम टर्मिनल्स का लक्ष्य: विश्व स्तरीय पोर्ट और ग्रीन ग्रोथ मॉडल

एपीएम टर्मिनल्स - एशिया एवं मध्य एशिया के चीफ एग्जीक्यूटिव श्री जॉन गोल्डनर ने कहा कि यह निवेश केवल पीपावाव पोर्ट के विस्तार तक सीमित नहीं है, बल्कि इससे गुजरात, भारत और वैश्विक व्यापार के नए अवसर खुलेंगे। उन्होंने कहा कि उनका लक्ष्य पीपावाव को विश्व स्तरीय कार्यक्षमता और ग्रीन ग्रोथ का मॉडल बनाना है, जिससे स्थानीय समुदाय की समृद्धि और सतत विकास सुनिश्चित हो सके।

एमओयू कार्यक्रम में वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति

इस अवसर पर मुख्यमंत्री के अपर मुख्य सचिव श्री एम.के. दास, मुख्यमंत्री के सलाहकार एवं जीएमबी के अध्यक्ष श्री एस.एस. राठौड़, बंदरगाह एवं परिवहन विभाग के प्रधान सचिव श्री आर.सी. मीणा, जीएमबी की कार्यकारी उपाध्यक्ष सुश्री रेम्या मोहन सहित कई वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे। मार्स्क और एपीएम टर्मिनल्स की ओर से रेने पेडरसन, गिरीश अग्रवाल और विवेक शर्मा भी कार्यक्रम में मौजूद रहे।

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