
Amritsar Liquor Deaths: पंजाब के अमृतसर जिले के मजीठा क्षेत्र में जहरीली शराब पीने से अब तक 15 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 6 की हालत बेहद नाजुक बनी हुई है। पीड़ितों को गुरु नानक देव अस्पताल, अमृतसर में भर्ती कराया गया है, जहां 6 लोग ICU में वेंटिलेटर पर हैं और पूरी तरह बेसुध हैं। मृतकों में अधिकतर दिहाड़ी मजदूर शामिल हैं जो सस्ती शराब के लालच में अपनी जान गंवा बैठे।
मृतकों की पहचान तीन प्रमुख गांवों भंगाली कलां, मराडी कलां और जयंतीपुर के निवासियों के रूप में हुई है। स्थानीय निवासियों ने बताया कि इन गांवों में लंबे समय से नकली शराब का गोरखधंधा चल रहा था, लेकिन प्रशासन ने कभी सख्ती नहीं की। अब मौतों के बाद प्रशासन हरकत में आया है।
अमृतसर ग्रामीण SSP मनिंदर सिंह ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि इस केस में अब तक 5 आरोपी गिरफ्तार किए जा चुके हैं, जिनमें प्रमुख मास्टरमाइंड प्रभजीत सिंह भी शामिल है। प्रभजीत ने 50 लीटर मिथेनॉल को डायल्यूट कर 120 लीटर नकली शराब तैयार की थी। यह मिथेनॉल उसके साथी साहिब सिंह द्वारा ऑनलाइन मंगवाया गया था। दोनों के अलावा कुलबीर सिंह उर्फ जग्गू, गुरजंट सिंह और निंदर कौर को भी गिरफ्तार किया गया है।
SSP ने बताया कि नकली शराब बनाने और पहुंचाने का नेटवर्क काफी फैला हुआ है। इसमें कुछ बस ड्राइवरों को भी पैसे देकर मिथेनॉल डिलीवर कराया जाता था। पुलिस को इस रैकेट के तार दूसरे राज्यों से भी जुड़े मिलने के संकेत मिले हैं।
मंगलवार सुबह अमृतसर की डिप्टी कमिश्नर साक्षी साहनी खुद प्रभावित गांवों में पहुंचीं और पीड़ित परिवारों से मिलीं। उन्होंने बताया कि जिन लोगों में हल्के लक्षण भी नजर आ रहे हैं, उन्हें तुरंत अस्पताल पहुंचाया जा रहा है। उन्होंने पूरे मामले की मॉनिटरिंग का आश्वासन दिया।
स्थानीय निवासियों ने बताया कि सोमवार रात 12 बजे के करीब लाउडस्पीकर से घोषणा की गई कि जिनकी तबीयत जरा भी खराब हो, वे तुरंत सामने आएं। इसके बाद कई और लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया। सुबह तक 4 से 5 और लोग अस्पताल पहुंचाए गए।
शिरोमणि अकाली दल के वरिष्ठ नेता और पूर्व विधायक बिक्रम मजीठिया ने इस घटना को लेकर सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि सरकार की मिलीभगत से नकली शराब का व्यापार फल-फूल रहा है। उन्होंने दावा किया कि एक बड़े शराब कारोबारी को बचाने के लिए पूरा मामला दबाने की कोशिश की जा रही है।
पंजाब में जहरीली शराब से मौतों की यह तीन साल में चौथी बड़ी घटना है। इससे पहले 2020 में अमृतसर, तरनतारन और बटाला में करीब 100 से ज्यादा लोगों की मौत हुई थी। वहीं, पिछले साल पठानकोट में 21 मौतें और नवांशहर-होशियारपुर में भी इसी तरह के मामले सामने आए थे।
पीड़ितों की संख्या बढ़ सकती है – प्रशासन ने निगरानी तेज की। दूसरी तरफ आरोपी साहिब सिंह ने कुबूल किया – “मैं पिछले 6 महीने से मिथेनॉल ऑनलाइन मंगा रहा था।” 10 संदिग्धों की तलाश जारी – पुलिस ने इंटर-स्टेट लिंक खंगालने के लिए SIT गठित की।
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